एक भैंस की मौत… 200 लोग पहुंचे अस्पताल! तेरहवीं का भोज बना मुसीबत, गांव में दहशत का माहौल

Edited By Anil Kapoor,Updated: 29 Dec, 2025 07:42 AM

200 people went to the hospital after eating raita all got the rabies vaccine

Badaun News: उझानी थाना क्षेत्र के पिपरौल गांव में एक भैंस की मौत के बाद गांव में हड़कंप मच गया। ग्रामीणों में किसी गंभीर बीमारी के फैलने की आशंका को लेकर डर का माहौल बन गया। बताया जा रहा है कि कुछ दिन पहले एक कुत्ते ने भैंस को काट लिया था और......

Badaun News: उझानी थाना क्षेत्र के पिपरौल गांव में एक भैंस की मौत के बाद गांव में हड़कंप मच गया। ग्रामीणों में किसी गंभीर बीमारी के फैलने की आशंका को लेकर डर का माहौल बन गया। बताया जा रहा है कि कुछ दिन पहले एक कुत्ते ने भैंस को काट लिया था और 26 दिसंबर 2025 को भैंस की मौत हो गई। जैसे ही यह खबर फैली, गांव में दहशत फैल गई। ग्रामीणों के मुताबिक, 23 दिसंबर 2025 को गांव में एक तेरहवीं संस्कार के दौरान दावत का आयोजन किया गया था। इस दावत में रायता परोसा गया था, जिसे बड़ी संख्या में लोगों ने खाया। बाद में यह जानकारी सामने आई कि जिस भैंस का दूध रायता बनाने में इस्तेमाल किया गया था, उसी भैंस को कुछ दिन पहले कुत्ते ने काटा था।

दूध मिलाकर बनाया गया था रायता
ग्रामीणों ने बताया कि उस भैंस का दूध दूसरी भैंसों के दूध में मिलाकर रायता तैयार किया गया था। भैंस की मौत के बाद लोगों को आशंका हुई कि कहीं दूध के जरिए कोई संक्रमण तो शरीर में नहीं चला गया। इसी बात को लेकर गांव में डर और चिंता का माहौल बन गया।

डर के साये में अस्पताल पहुंचे ग्रामीण
भैंस की मौत के बाद शनिवार को करीब 12:15 बजे बड़ी संख्या में ग्रामीण एहतियात के तौर पर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र उझानी पहुंच गए। लोगों ने संभावित संक्रमण से बचाव के लिए वैक्सीनेशन कराने की मांग की। एक साथ बड़ी संख्या में ग्रामीणों के पहुंचने से कुछ समय के लिए अस्पताल में अफरा-तफरी की स्थिति बन गई।

करीब 200 लोगों ने लगवाई वैक्सीन
वैक्सीनेशन कराने वालों में जशोदा, धर्मपाल, कौशल कुमार, अनमोल, कमलेश, मोनिका, सर्वेश, संगीता सहित लगभग 200 ग्रामीण शामिल रहे। सभी लोग दहशत में थे और अपनी सेहत को लेकर काफी चिंतित नजर आए। ग्रामीणों का कहना था कि वे किसी भी तरह का खतरा नहीं उठाना चाहते थे।

स्वास्थ्य विभाग ने किया आश्वस्त
स्वास्थ्य विभाग की टीम ने ग्रामीणों को समझाया कि घबराने की जरूरत नहीं है। चिकित्सकों ने बताया कि दूध के माध्यम से इस तरह का संक्रमण फैलने की संभावना बहुत कम होती है। इसके बावजूद लोगों की चिंता को देखते हुए एहतियात के तौर पर सभी का वैक्सीनेशन किया गया।

वैक्सीनेशन के बाद मिली राहत
वैक्सीन लगवाने के बाद ग्रामीणों ने राहत की सांस ली। फिलहाल गांव में स्थिति सामान्य बताई जा रही है। स्वास्थ्य विभाग की टीम लगातार गांव पर नजर बनाए हुए है, ताकि किसी भी तरह की अफवाह या डर फैलने से रोका जा सके।

प्रशासन ने की अपील
प्रशासन ने ग्रामीणों से अपील की है कि वे अफवाहों पर ध्यान न दें और किसी भी संदिग्ध या आपात स्थिति में तुरंत स्वास्थ्य विभाग या प्रशासन को सूचना दें। फिलहाल पिपरौल गांव में स्थिति पूरी तरह नियंत्रण में है और किसी के बीमार होने की कोई पुष्टि नहीं हुई है।

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