Edited By Ajay kumar,Updated: 14 Feb, 2020 04:51 PM
कहते हैं ‘बाप बड़ा न भइया सबसे बड़ा रुपइया’ यह कहावत बिल्कुल सही है। जब पैसा सामने आता है तो बड़े से बड़े व्यक्ति का ईमान डोल जाता है। जी, हां ऐसा ही एक मामला कृष्ण की नगरी...
मथुराः कहते हैं ‘बाप बड़ा न भइया सबसे बड़ा रुपइया’ यह कहावत बिल्कुल सही है। जब पैसा सामने आता है तो बड़े से बड़े व्यक्ति का ईमान डोल जाता है। जी, हां ऐसा ही एक मामला कृष्ण की नगरी मथुरा से सामने आया है। जहां डॉक्टर के अपहरण की फिरौती की रकम काे पुलिसकर्मियाें द्वारा बंदरबांट किया गया है, जिसमें SSP शलभ माथुर से लेकर SHO तक की संदिग्ध भूमिका सामने आई है। इस मामले में इंस्पेक्टर को निलंबित कर दिया गया है जबकि SSP और DIG को हटाने की तैयारी चल रही है।
इस मामले में IG ने अपनी रिपोर्ट शासन को भेज दी है। IG आगरा सतीश गणेश द्वारा की गई जांच में SSP से लेकर SHO तक की भूमिका संदिग्ध बताई गई है। SSP शलभ माथुर के खिलाफ भी कार्रवाई तय है। फिलहाल माथुर को मथुरा से हटाने की तैयारी है। जिला स्तर पर कार्रवाई भी कर दी गई है। हाइवे थाने के SHO को निलंबित कर दिया गया है जबकि संबंधित सर्किल के क्षेत्राधिकारी सीओ को सर्किल से हटा दिया गया है। वहीं डॉक्टर का अपहरण करने वाले चारों बदमाशों पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित किया गया है।
क्या है मामला?
बता दें कि पिछले दिसंबर माह में मथुरा के एक डॉक्टर का अपहरण हो गया था। अपहरणकर्ताओं ने डॉक्टर के परिजनों से एक करोड़ रुपये की फिरौती मांगी थी। परिजनों द्वारा 52 लाख रुपये अपहरणकर्ताओं को देकर डॉक्टर को छुड़ा लिया गया था। डॉक्टर के पास जब बाकी पैसे देने के लिए अपहरणकर्ताओं ने संपर्क किया और दोबारा अपहरण की धमकी दी तो डॉक्टर ने पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने कार्रवाई करते हुए एक अपहरणकर्ता को हिरासत में ले लिया। आरोप है कि पुलिस ने फिरौती की रकम हड़प ली और बदमाश को छोड़ दिया।
आगरा का आईजी रेंज कर रहा मामले की जांच
मामले की जांच आगरा के आईजी रेंज को दी गई थी। उन्होंने 22 बिंदुओं पर SSP से जवाब मांगा था। SSP का जवाब संतोष जनक नहीं था। आईजी ने इस मामले में SSP के खिलाफ कार्रवाई की सिफारिश की है।
हाल ही में हुआ है शलभ माथुर का प्रमोशन
मथुरा के SSP शलभ माथुर का हाल ही एक जनवरी को SSP के पद से DIG के पद पर प्रमोशन हुआ है। माथुर 2006 बैच के IPS अधिकारी हैं। वह मथुरा के अलावा गोरखपुर, प्रयागराज, कानपुर, आगरा और नोएडा जैसे बड़े जिलों के भी SSP रह चुके हैं।