Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 01 Nov, 2021 06:41 PM
उत्तर प्रदेश के चित्रकूट में STF ने 2 दिन पहले 5 लाख इनामी खूंखार डकैत गौरी यादव को मुठभेड़ में मार गिराया। इसके बाद पुलिस प्रशासन ने दावा किया कि अब क्षेत्र में शांति का माहौल है। वहीं, गौरी के मां का बयान सामने आने के बाद अब यूपी STF पर सवाल खड़े...
चित्रकूट: उत्तर प्रदेश के चित्रकूट में STF ने 2 दिन पहले 5 लाख इनामी खूंखार डकैत गौरी यादव को मुठभेड़ में मार गिराया। इसके बाद पुलिस प्रशासन ने दावा किया कि अब क्षेत्र में शांति का माहौल है। वहीं, गौरी के मां का बयान सामने आने के बाद अब यूपी STF पर सवाल खड़े किए जा रहें है।
दरअसल, गौरी की मां रंजना देवी अपने बेटे की मौत की खबर सुनते ही बेटे को आखिरी बार देखने के लिए पोस्टमार्टम हाउस पहुंची। शनिवार देर रात तक पोस्टमार्टम हाउस के बाहर बैठकर अपने बेटे के शव का इंतजार करती रही। इसी दौरान मीडिया से बातचीत करते हुए रंजना देवी ने बताया कि “पिछले कई सालों से मैंने बेटे को नहीं देखा था, लेकिन 6 साल पहले जब वो साथ रहता था तो कई पुलिस वाले लगातार घर पर आते थे। कई बड़े अधिकारियों के साथ वो खाना खाता था। फिर मेरा बेटा अपराधी कैसे हो गया? अगर वो अपराधी था तो पुलिस वाले पहले क्यों घर पर आते थे?”
गौरी के मां के अनुसार, बेलहरी गांव में गौरी 30 साल पहले सामान्य लोगों की तरह अपना जीवन यापन कर रहा था। फिर ददुआ डकैत और कोठिया के आतंक से परेशान होकर यूपी एसटीएफ ने गौरी को अपना मुखबिर बनाया, जिसके बाद उसका डकैतों के साथ उठना बैठना शुरु हो गया। गौरी डकैतों के साथ रहकर उनकी खुफिया जानकारी पुलिस तक पहुंचने लगा। धीरे-धीरे उसके भी हौसले बुलंद होते गए और वह हथियार भी चलाना सीख लिया, जिसके बाद वह लोगों को डराने धमकाने लगा और अपराध की दुनिया में उतर गया।