Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 13 Jun, 2024 11:52 AM
उत्तर प्रदेश में करीब पांच सांसद ऐसे हैं जिनकी अदालतों में चल रहे आपराधिक मामलों के कारण संसद की सदस्यता छिन सकती है। रिपोर्ट के मुताबिक अगर इन 5 सालों में किसी भी सांसद को दो साल से ज्यादा...
लखनऊ: उत्तर प्रदेश में करीब पांच सांसद ऐसे हैं जिनकी अदालतों में चल रहे आपराधिक मामलों के कारण संसद की सदस्यता छिन सकती है। रिपोर्ट के मुताबिक अगर इन 5 सालों में किसी भी सांसद को दो साल से ज्यादा की सजा होती है, तो उसकी सांसदी फैसला आने के साथ ही छिन जाएगी।
अफजाल अंसारी की जा सकती है संसद की सदस्यता
इन नेताओं की लिस्ट में पहला नाम यू.पी. के गाजीपुर से लोकसभा सांसद अफजाल अंसारी का है। उनके नामांकन से वोटिंग के बीच भी बार-बार विवाद खड़े होते रहे। इसके चलते उन्होंने नामांकन का एक और पर्चा भी दाखिल किया। अफजाल की जीत हो गई है लेकिन उनके खिलाफ 5 आपराधिक मामले चल रहे हैं, जिसमें से गैंगस्टर एक्ट के तहत एक केस में पहले ही उन्हें 4 साल की सजा हो चुकी है। इसके चलते उनकी सदस्यता चली गई। थी, लेकिन सुप्रीम कोर्ट से उन्हें इस केस में थोड़ी राहत मिल गई थी, फिलहाल यह मामला हाईकोर्ट में लंबित है। अगर कोर्ट इस फैसले को बरकरार रखता है तो अफजाल की संसद की सदस्यता जा सकती है।
दो साल की सजा होती है, तो चंद्रशेखर की जाएगी सदस्यता
इस लिस्ट में दूसरा नाम अच्छे मार्जिन से चुनाव जीतकर संसद पहुंचे नगीना से निर्दलीय प्रत्याशी चंद्रशेखर का है। आजाद समाज पार्टी
के प्रमुख चंद्रशेखर के खिलाफ कई मुकदमे दर्ज हैं, इनमें से चार में तो उन पर आरोप भी तय हो चुके हैं। अगर किसी भी मामले में उन्हें दो साल की सजा होती है, तो चंद्रशेखर की सदस्यता चली जाएगी। बता दें कि चंद्रशेखर पहली बार लोकसभा चुनाव जीतकर संसद पहुंचे हैं।
बाबू सिंह कुशवाहा पर आय से अधिक संपत्ति के मामले दर्ज
इस लिस्ट में एक बड़ा नाम बाबू सिंह कुशवाहा का भी है। यू.पी. की जौनपुर सीट से सपा के टिकट पर चुनाव जीतकर संसद में पहुंचे बाबू सिंह कुशवाहा पर आय से अधिक संपत्ति के मामले भी दर्ज हैं। उनके खिलाफ 8 मामलों में आरोप तय हो चुके हैं। उनके केस की जांच सी.बी.आई. और ई.डी. कर रही है।
इमरान मसूद और धर्मेंद्र यादव के खिलाफ भी कई केस दर्ज
सहारनपुर से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव जीते इमरान मसूद से लेकर चंदौली से चुनाव जीते वीरेंद्र सिंह और आजमगढ़ से सपा सांसद धर्मेंद्र यादव के खिलाफ भी केस दर्ज हैं। इन सभी के खिलाफ ऐसे केस हैं, जिसमें 2 साल से ज्यादा की सजा का प्रावधान है। ऐसे में अगर किसी भी केस में इन नेताओं को सजा मिलती है तो इनकी सदस्यता जा सकती है।