Edited By Ruby,Updated: 27 Aug, 2018 05:02 PM
उत्तर प्रदेश के हमरीपुर में पंचायत ने एक दलित परिवार को तुगलकी फरमान सुनाया है। फरमान सुनाते हुए पंचायत ने दलित परिवार का हुक्का-पानी बंद कर दिया है। इतना ही नहीं गांव में अगर किसी व्यक्ति ने परिवार के लोगों के साथ बात की तो उन्हें जुर्माना...
हमीरपुरः उत्तर प्रदेश के हमरीपुर में पंचायत ने एक दलित परिवार को तुगलकी फरमान सुनाया है। फरमान सुनाते हुए पंचायत ने दलित परिवार का हुक्का-पानी बंद कर दिया है। इतना ही नहीं गांव में अगर किसी व्यक्ति ने परिवार के लोगों के साथ बात की तो उन्हें जुर्माना भरेगा।
मामला जिले के राठ कोतवाली क्षेत्र के बहपुर गांव का है। दरअसल बीते दिन हरनाथ के भाई ने संपत्ति विवाद को लेकर गांव के लोगों से शिकायत की थी और अपना हक दिलवाने को कहा था। जिसपर गांव में देर रात पंचायत बुलाई गई, लेकिन पंचायत में हरनाथ और इसकी पत्नी नहीं पहुंचे। जिस पर पंचायत ने गांव में मुनादी पिटवा दी कि हरनाथ का पूरा गांव बहिष्कार करेगा और इससे अगर किसी ने बात की तो उसको जुर्माना भरना पड़ेगा।
इतना ही नहीं पंचायत ने गांव से ना सिर्फ बहिष्कार किया है बल्कि इनका हुक्का पानी भी बंद करने को कहा है। पंचायत के इस तुगलकी फरमान का बच्चों पर भी असर पड़ रहा है। बच्चों के साथियों ने उनसे बात करनी बंद कर दी हैं। जिसकी वजह से वो स्कूल नहीं जा रहा है।
पंचायत के इस तुगलकी फरमान से आहत हरनाथ और इसकी पत्नी ने ज़िले के आला अधिकारियों से न्याय की गुहार लगाईं है। जिसपर ज़िला प्रशासन का कोई भी अधिकारी कुछ भी बोलने को तैयार नहीं है। पंचायत में मौजूद लोगों से जब तुगलकी फरमान के बारे में बात की गई तो कुछ लोग मीडिया को देख कर ऐसी किसी भी पंचायत से इनकार कर रहे हैं तो कुछ लोग दबी ज़बान से पंचायत होने की पुष्टि करते हुए इस परिवार के बहिष्कार की बात स्वीकार कर रहे हैं।