Edited By Pooja Gill,Updated: 30 Nov, 2024 02:38 PM
संभल हिंसा के बाद सपा का एक डेलिगेशन जिले में मामले की जानकारी लेने जाने वाला था। जिसके चलते संभल डीएम द्वारा जारी पत्र के बाद पुलिस ने सपा नेताओं को हाउस अरेस्ट करना शुरू कर दिसा है। इसी बीच राजधानी लखनऊ में शनिवार को पुलिस ने सपा प्रदेश अध्यक्ष...
लखनऊ : संभल हिंसा के बाद सपा का एक डेलिगेशन जिले में मामले की जानकारी लेने जाने वाला था। जिसके चलते संभल डीएम द्वारा जारी पत्र के बाद पुलिस ने सपा नेताओं को हाउस अरेस्ट करना शुरू कर दिसा है। इसी बीच राजधानी लखनऊ में शनिवार को पुलिस ने सपा प्रदेश अध्यक्ष श्यामलाल पाल को भी उनके आवास पर हाउस अरेस्ट कर उन्हें नोटिस दिया है।
इससे पहले पुलिस ने विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष माता प्रसाद पांडेय और विधान परिषद में नेता प्रतिपक्ष लाल बिहारी यादव को उनके घर पर ही रोक लिया है। वह संभल जाने के लिए गाड़ी पर बैठे लेकिन पुलिस ने अपनी गाड़ियां लगाकर उन्हें निकलने नहीं दिया। माता प्रसाद पांडेय ने सपा कार्यालय जाने की बात कही। फिर भी पुलिस ने उन्हें घर में नजरबंद रखा। जिसके चलते वह कार्यकर्ताओं संग धरने पर बैठ गए। इसके कुछ देर बाद ही पुलिस ने सपा प्रदेश अध्यक्ष को भी हाउस अरेस्ट कर लिया।
संभल जाना था डेलिगेशन
आपको बताते चलें कि विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष माता प्रसाद पांडेय के नेतृत्व में सपा का 15 सदस्यीय डेलिगेशन संभल जाने वाला था। सपा नेता संभल में पीड़ितों से मिलकर जानकारी जुटाने वाले थे। जिसकी जानकारी वह सपा मुखिया अखिलेश यादव को देते। लेकिन उनके संभल निकलने से पहले ही पुलिस उनके घरों के बाहर तैनात मिली।
रिटायर्ड जज से जांच की मांग
धरने पर बैठे नेता प्रतिपक्ष माता प्रसाद पांडेय अपने कार्यकर्ताओं के साथ संभल के लोगों को इंसाफ दो का नारा लगा रहे हैं। साथ ही हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज से जांच कराए जाने की मांग कर रहे हैं। इसके अलावा संभल हिंसा में जान गंवाने वाले लोगों के परिजनों को एक एक करोड़ रुपए मुआवजे के तौर पर दिए जाने की मांग की।