Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 17 Aug, 2022 12:11 PM

लखनऊ: यूपी के माफिया डोन मुख़्तार अंसारी को कोर्ट से बड़ा झटका लगा है। बांदा जेल में सलाखों के पीछे माफिया डॉन मुख़्तार अंसारी के खिलाफ लखनऊ की एमपी-एमएलए कोर्ट ने जालसाजी, धोखाधड़ी से शत्रु संपत्ति पर कब्जा और अवैध निर्माण के मामले में आरोप तय कर दिए...
लखनऊ: यूपी के माफिया डोन मुख़्तार अंसारी को कोर्ट से बड़ा झटका लगा है। बांदा जेल में सलाखों के पीछे माफिया डॉन मुख़्तार अंसारी के खिलाफ लखनऊ की एमपी-एमएलए कोर्ट ने जालसाजी, धोखाधड़ी से शत्रु संपत्ति पर कब्जा और अवैध निर्माण के मामले में आरोप तय कर दिए हैं। इस मामले की अगली सुनवाई 29 अगस्त को होगी।
बताया जा रहा है कि बीते मंगलवार को मुख्तार अंसारी की पेशी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हुई थी। व्यक्तिगत रूप से हाजिर होने पर मुख्तार के हस्ताक्षर कराए जाएंगे। मुख़्तार पर आरोप है कि उसने खाधड़ी से शत्रु संपत्ति को अपने और बेटों के नाम कराकर उस पर अवैध निर्माण करवाया था। इस मामले में आरोप से मुक्ति की मुख्तार अंसारी की अर्जी 27 जुलाई को खारिज हुई थी।
गौरतलब है कि इस मामले में 27 अगस्त 2020 को स्थानीय क्षेत्र लेखपाल सुरजन लाल ने हजरतगंज थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी। इसमें कहा गया था कि जियामऊ इलाके में कुछ जमीन मोहम्मद वसीम के नाम पर दर्ज थी जो पाकिस्तान चला गया था और उसकी जमीन सरकार के राजस्व रिकॉर्ड में शत्रु संपत्ति के रूप में दर्ज की गई थी। एफआईआर के मुताबिक उक्त जमीन को अंसारी और उनके बेटों ने फर्जी दस्तावेजों के सहारे हड़प लिया और इस तरह सरकार के साथ करोड़ों रुपये की ठगी की। मामले में अंसारी की ओर से जमानत अर्जी दाखिल करते हुए दावा किया गया था कि वह निर्दोष हैं और राजनीतिक रंजिश के चलते उन्हें मामले में फंसाया गया है। इस मामले में मुख्तार अंसारी के साथ ही उनके बेटे उमर अंसारी और अब्बास अंसारी पर भी केस दर्ज किया गया था।