Edited By Umakant yadav,Updated: 06 Mar, 2021 12:36 PM
उत्तर प्रदेश में भदोही जिले के शहर कोतवाली इलाके में गुरूवार रात हुयी मुठभेड़ पर चिकित्सीय रिपोर्ट आने के बाद सवाल उठने लगे है। मोढ़ पुलिस चौकी अन्तर्गत करियांव बाजार के रमयनपुर आलमगंज मार्ग पर गुरूवार देर रात पुलिस व क्राइम ब्रांच की टीम ने प्रधान...
भदोही: उत्तर प्रदेश में भदोही जिले के शहर कोतवाली इलाके में गुरूवार रात हुयी मुठभेड़ पर चिकित्सीय रिपोर्ट आने के बाद सवाल उठने लगे है। मोढ़ पुलिस चौकी अन्तर्गत करियांव बाजार के रमयनपुर आलमगंज मार्ग पर गुरूवार देर रात पुलिस व क्राइम ब्रांच की टीम ने प्रधान पति पर जानलेवा हमला करने के आरोपी प्रमोद सिंह तथा अमरीष सिंह की घेराबंदी की थी। बदमाशों की गोली से शहर कोतवाल सदानंद सिंह बाल बाल बच गये थे। जवाबी कार्रवाई में दोनो बदमाश घायल हो गये जिन्हे महाराजा बलवंत सिंह राजकीय अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
ड्यूटी कर रहे चिकित्सक डा. प्रभात कुमार ने उनका उपचार किया था। उनकी रिपोर्ट में बदमाशों के पैर में गोली लगने के कारण नहीं, बल्कि धारदार हथियार से चोट की बात सामने आई है। जिसके बाद पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया है। चिकित्सालय के सीएमएस डॉ. जय नरेश ने कहा कि चिकित्सक डॉ. प्रभात कुमार की रिपोर्ट सौ फीसदी सही है। पुलिस को संदेह है तो सीएमओ से मेडिकल बोर्ड गठित कराकर दोबारा जांच करा लें। गोली नहीं लगने के निशान न मिलने पर ही धारदार हथियार से चोट के निशान की रिपोर्ट बनी है।
उधर, एसपी राम बदन सिंह ने कहा कि चिकित्सक की रिपोर्ट नहीं देखी है। बदमाश जब फायरिंग कर रहे थे, तब जवानों ने भी आत्मरक्षार्थ फायरिंग की थी, जो उनके पैरों में लगी थी। यह भी हो सकता है कि बाइक से गिरते समय बदमाशों के पैरों में पांव रखने वाले लोहे के लगे स्टैंड से चोट लगी हो। गोली पैर में मारने की बात पर अडिग रहे। कहा कि आरोपित जिंदा है, ऐसे में रिपोर्ट मायने नहीं, वह खुद बताएगा कि गोली लगी है अथवा नहीं। उधर, कड़ी सुरक्षा के बीच शुक्रवार को भी दोनों का एमबीएस में उपचार चल रहा था।