Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 05 Sep, 2019 11:39 AM
उत्तर प्रदेश सरकार भले ही सीनियर सिटीजन के लिए कई योजनाओं शुरू कर दे, लेकिन उसका लाभ उन्हें आसानी से नहीं मिल सकता। योजनाओं का लाभ लेने के लिए उन्हें सरकारी दफ्तर के चक्कर काटने...
कानपुरः उत्तर प्रदेश सरकार भले ही सीनियर सिटीजन के लिए कई योजनाओं शुरू कर दे, लेकिन उसका लाभ उन्हें आसानी से नहीं मिल सकता। योजनाओं का लाभ लेने के लिए उन्हें सरकारी दफ्तर के चक्कर काटने पड़ते हैं। ताजा मामला कल्याणपुर विकास खंड के बैकुंठपुर गांव का है। जहां 70 वर्षीय सोहन लाल की आ रही सरकारी पेंशन को बंद कर दिया गया।
बता दें कि कल्याणपुर विकास खंड के बैकुंठपुर गांव के रहने वाले 70 वर्षीय वृद्ध सोहन लाल को वृद्धा पेंशन मिल रही थी, लेकिन पिछले दो सालों से उनकी पेंशन बंद कर दी गई। सोहनलाल अपने भतीजे के साथ समाज कल्याण विभाग पहुंचे तो वहां पर उनको एक कागज थमा दिया गया। जिसपर लिखा था कि सोहनलाल की मौत हो चुकी है।
सोहनलाल ने समाज कल्याण अधिकारी को बताया कि साहब मै जिंदा हूं मेरी पेंशन बहाल करें, लेकिन वो नहीं माने और जीवित होने का प्रमाण पत्र मांगा। सोहनलाल के भतीजे हरिशंकर ने बताया कि मेरे चाचा कि दो साल से पेंशन बंद है। लगातार समाज कल्याण ऑफिस के चक्कर लगा रहे हैं। विकास भवन में पेंशन विभाग से बताया गया कि सोहनलाल की मौत हो चुकी है, इस लिये कुछ नहीं हो सकता।
उन्होंने बताया कि अगर पेंशन चाहिये तो फिर से नया आवेदन करना पडेगा। ब्लॉक के बीडीओ के पास पहुंचे तो उन्होंने कहा कि पता करना पडेगा की सोहनलाल जिंदा है या नहीं।
इस पूरे प्रकरण की जानकारी जब मुख्य विकास अधिकारी को हुई तो वो भी भौचक रह गए।उनका कहना है कि अगर उनको पहले पेंशन मिलती थी और किसी समय उनको मृत घोषित कर पेंशन बंद कर दी गई। अगर सोहनलाल आज की तारीख में जीवित है तो उनकी पेंशन दुबारा चालू कराई जाएगी।