Edited By Anil Kapoor,Updated: 28 May, 2023 07:50 AM
Firozabad News: आपने दोस्ती में जान देने की बातें बहुत सुनी होंगी पर शायद ही ऐसा वाक्या सुना या देखा होगा, जो हम आपको बताने जा रहे हैं। मिली जानकारी के मुताबिक, उत्तर प्रदेश में फिरोजाबाद जिले के नगला खंगर में एक युवक की मौत के बाद उसका अंतिम...
फिरोजाबाद(अरशद अली): Firozabad News: आपने दोस्ती में जान देने की बातें बहुत सुनी होंगी पर शायद ही ऐसा वाक्या सुना या देखा होगा, जो हम आपको बताने जा रहे हैं। मिली जानकारी के मुताबिक, उत्तर प्रदेश में फिरोजाबाद जिले के नगला खंगर में एक युवक की मौत के बाद उसका अंतिम संस्कार चल रहा था। इसी दौरान चिता के पास ही मृत युवक का एक दोस्त गुमसुम बैठा सब देख रहा था और अचानक ही वह युवक दोस्त की जलती चिता पर जाकर लेट गया। यह देखकर आसपास मौजूद लोगों में खलबली मच गई। उसे चिता की जलती लपटों से बांस की मदद से बाहर निकाला गया और युवक को इलाज के लिए अस्पताल भेजा गया। युवक के 90 प्रतिशत जल जाने की वजह से चिकित्सकों ने उसे आगरा रेफर कर दिया।
जानिए, क्या है पूरा मामला?
दरअसल, फिरोजाबाद के नगला खंगर इलाके मढ़ैया नादिया गांव के रहने वाले 32 वर्षीय अशोक कुमार की कैंसर की वजह से शनिवार को मौत हो गई। अशोक लम्बे समय से कैंसर से पीड़ित था। मौत के बाद परिजनों ने युवक के अंतिम संस्कार की तैयारी शुरु कर दी। स्थानीय रीति के अनुसार, युवक के शव को खेत तक ले गए और वहीं चिता सजाई गई। परिजनों ने शव को मुखाग्नि दी। मृत युवक अशोक का दोस्त आनंद राजपूत (35) भी चिता के पास ही गुमसुम सा बैठा था। समय के साथ गांव के ज्यादातर लोग वापस भी लौट गए। मौके पर कम ही लोग रह गए।
अचानक आनंद ने उठाया आत्मघाती कदम
सूत्रों के मुताबिक, इसी दौरान अचानक मृत युवक के दोस्त आनंद ने आत्मघाती कदम उठा लिया और चिता पर छलांग लगा दी। जब वह चिता पर लेटने के बाद चीखने लगा, तब लोगों का ध्यान उसकी तरफ गया। मौके पर मौजूद लोगों ने एक बांस की मदद से आनंद को चिता से बाहर निकाला और उसके परिजनों को घटना के बारे में जानकारी दी। आनंद को इलाज के लिए जिला अस्पताल ले जाया गया। डॉक्टर ने वहां उसका प्राथमिका उपचार करने के बाद आगरा रेफर कर दिया। चिकित्सकों के अनुसार, आनंद का शरीर 90 प्रतिशत तक जल चुका है।
किसी को नहीं था अंदाजा कि आनंद ऐसा करेगा
बताया जा रहा है कि पंचवटी भदान के रहने वाले आनंद और अशोक बचपन के दोस्त थे। उनकी दोस्ती ऐसी थी कि दोनों एक दूसरे के लिए जान भी दे सकते थे। उनके परिवार के लोग भी इस बात से वाकिफ थे। लेकिन अशोक की मौत के बाद किसी को भी इस बात का अंदाजा नहीं था कि दोस्त की जुदाई के गम में आनंद ऐसा खौफनाक कदम उठा सकता है। पूरे इलाके में इस पूरी घटना की चर्चा है।