Edited By ,Updated: 09 Oct, 2015 01:37 PM

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बहुजन समाज पार्टी अध्यक्ष(बसपा) और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती के आरोपों को निराधार बताते हुए कहा है कि वह कुंठा में भाजपा पर बेबुनियाद आरोप लगा रही है।
लखनऊ: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बहुजन समाज पार्टी अध्यक्ष(बसपा) और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती के आरोपों को निराधार बताते हुए कहा है कि वह कुंठा में भाजपा पर बेबुनियाद आरोप लगा रही है। भाजपा ने कहा कि सुश्री मायावती ने आज बसपा संस्थापक कांशी राम की श्रद्धांजलि सभा में कहा है कि केन्द्र सरकार उन्हे एनआरएचएम घोटाले में फंसाना चाहती है और उसके लिए केन्द्रीय जांच ब्यूरो का दुरुपयोग कर रही है। भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता विजय बहादुर पाठक ने कहा कि सुश्री मायावती के आरोप सत्य से परे हैं, यदि उनके आरोप सही है तो उन्हे सबूत देना चाहिए। पाठक ने कहा कि सुश्री मायावती ने दादरी कांड को साजिश बताया है। उन्होंने कहा कि यदि सुश्री मायावती को दादरी कांड साजिश लगता है तो उन्हे साजिश कत्र्ताओं का नाम भी उजागर करना चाहिए। उनका कहना था कि भाजपा पिछड़ो और दलितों के साथ ही पूरे समाज की हितैषी है और सबको साथ लेकर सबका विकास चाहती है।
मायावती ने समाजवादी पार्टी पर सांप्रादियकता से जुड़ी घटनाआें को लेकर वोट बैंक की राजनीति करने का आरोप लगाते हुए कहा कि मुजफ्फरनगर दंगों की रिपोर्ट आ गयी है लेकिन दंगों में शामिल सपा और भाजपा नेताओं को बचाने की कोशिश में प्रदेश सरकार रिपोर्ट पर अमल नहीं कर रही है। दादरी कांड के मुख्य आरोपियों पर भी सत कानूनी शिकंजा नहीं कसा गया। उन्होंने यह भी कहा कि आजम खां को आगे कर बयान दिलाने या संयुक्त राष्ट्र में चिट्ठी लिखने से कुछ काम नहीं चलने वाला है। सांप्रदायिकता के खिलाफ सख्त कार्यवाही करनी होगी। दोहरे मापदंडों से सांप्रदायिकता से नहीं लड़ा जा सकता है।
मायावती ने कहा कि बिहार में दादरी मुद्दे की आड में धार्मिक भावनाएं भड़का कर चुनावी लाभ लेने की कोशिश हो रही है तथा हिन्दू और मुस्लिम वोटों का धु्रवीकरण हो रहा है। भाजपा भारत को हिन्दू राष्ट्र बनाना चाहती है। दलितों, आदिवासियों और अन्य पिछडे वर्ग के लोगों के हित हिन्दू राष्ट्र बनने की स्थिति में सुरक्षित नहीं रहेंगे। हिन्दू धर्म में चार वर्ण होते हैं जिसमें शूद्र केवल गुलामी करता था, दलित और पिछडे शूद्र कहलाते थे। हिन्दू राष्ट्र बना तो यह फिर से गुलाम बना दिये जायेंगे। मायावती ने आरोप लगाया कि दंगा पीड़ितों को मुआवजा देने में भी पक्षपात होता है। सपा सरकार यादव समाज को तो तुरन्त उचित मुआवजा और सरकारी नौकरी दे देती है लेकिन दलित , मुस्लिम , अन्य पिछड़े वर्ग तथा उंची जाति के लोगों को कुछ नहीं देती है। दादरी में मुसलमान के मारे जाने पर भी मुआवजा तब दिया गया जब पानी सिर के उपर चला गया और देश का मीडिय़ा तथा विभिन्न दलों के नेता घटनास्थल पर पहुंचे।
मायावती ने भाजपा पर हमला बोलते हुए कहा कि वह राजनीतिक स्वार्थ के लिए किस्म किस्म के हथकंडे अपना रही है। उत्तर प्रदेश में भाजपा ने एमआईएम प्रमुख असदुद्दीन आेवैसी को सक्रिय किया तथा बिहार में उनका इस्तेमाल कर रही है और उत्तर प्रदेश में वह पीस पार्टी का इस्तेमाल भी कर सकती है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में सपा अथवा भाजपा में से किसी की भी सरकार बनी तो प्रदेश में हिन्दू और मुसलमान के बीच दंगे होंगे और प्रदेश का विकास ठप्प हो जायेगा। उन्होंने राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत पर भी निशाना साधते हुए कहा कि शिक्षा , सरकारी नौकरी राजनीति आदि में दलितों, पिछड़ों का आरक्षण खत्म करने की साजिश हो रही है। आरक्षण की समीक्षा का हथकंडा अपना कर केन्द्र की भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार संघ के इशारे पर इसे खत्म करने की कोशिश में लगी है। संघ प्रमुख की टिप्पणी पर प्रधानमंत्री की चुप्पी इसका सबूत है। मायावती ने चेतावनी दी कि यदि आरक्षण समाप्त करने की कोशिश की गयी तो बसपा पूरे देश में आंदोलन छेडेग़ी। केन्द्र की भाजपा सरकार से सावधान रहने की जरूरत पर जोर देते हुए उन्होंने कहा कि भाजपा शासन में आये दिन कट्टरपंथी और सांप्रदायिक ताकतें मजबूत हो रही हैं तथा भाजपा नेता और मंत्री खुलेआम संविधान की धज्जियां उड़ा रहे हैं लेकिन प्रधानमंत्री ने उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की।