समान केस में एक को जमानत, किसान नेता को जेल... चंदौली में एसडीएम पर पक्षपात के आरोप में माले का प्रदर्शन

Edited By Mamta Yadav,Updated: 05 Nov, 2025 06:16 PM

one person granted bail in the same case politics heats up over sanjay yadav s

चंदौली जिले में उपजिलाधिकारी (एसडीएम) पंडित दीनदयाल उपाध्याय नगर (मुगलसराय) अनुपम मिश्र के खिलाफ कार्रवाई की मांग तेज हो गई है। आरोप है कि उन्होंने समान मामले में दो आरोपियों के साथ अलग-अलग व्यवहार करते हुए एक को जमानत दी, जबकि किसान नेता संजय यादव...

Chandauli News: चंदौली जिले में उपजिलाधिकारी (एसडीएम) पंडित दीनदयाल उपाध्याय नगर (मुगलसराय) अनुपम मिश्र के खिलाफ कार्रवाई की मांग तेज हो गई है। आरोप है कि उन्होंने समान मामले में दो आरोपियों के साथ अलग-अलग व्यवहार करते हुए एक को जमानत दी, जबकि किसान नेता संजय यादव को जेल भेज दिया। भाकपा (माले) और अखिल भारतीय किसान महासभा ने इसे “कानून के साथ खिलवाड़” और “बदले की भावना से की गई कार्रवाई” करार दिया है।
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जिलेभर में पुतला दहन का ऐलान
भाकपा (माले) जिला सचिव कामरेड अनिल पासवान ने प्रेस को जारी बयान में बताया कि 5 नवंबर 2025 को जिले के विभिन्न स्थानों शिकारगंज (चकिया), शहाबगंज, नौगढ़, चहनियां और सकलडीहा बाजार में एसडीएम अनुपम मिश्र का पुतला दहन किया जाएगा। पासवान ने कहा कि “जब तक उपजिलाधिकारी का तबादला नहीं होता, आंदोलन जारी रहेगा।”

क्या है मामला?
अनिल पासवान के अनुसार, भारतमाला परियोजना के अंतर्गत रेवसा गांव के दलित और गरीब परिवारों के घरों को गिराए जाने से पहले पुनर्वास की मांग को लेकर आंदोलन चल रहा था। इसी आंदोलन से नाराज होकर एसडीएम अनुपम मिश्र ने कई लोगों पर “फर्जी मुकदमे” दर्ज कराए। उन्होंने आरोप लगाया कि “एक ही धाराओं में गिरफ्तार दो व्यक्तियों में से एक को जमानत दे दी गई, जबकि किसान नेता कामरेड संजय यादव को जेल भेज दिया गया।”

धमकी और दुरुपयोग के आरोप
भाकपा (माले) नेताओं का कहना है कि एसडीएम ने संजय यादव को गाली-गलौज की और धरना समाप्त करने के बाद ही जमानत देने की धमकी दी। संगठन ने इसे कानूनी प्रक्रिया का दुरुपयोग बताते हुए कहा कि यह कार्रवाई किसान आंदोलन को दबाने की साजिश है।

आंदोलन तेज करने की तैयारी
माले नेताओं ने कहा कि अगर प्रशासन ने कार्रवाई नहीं की तो आंदोलन को पूरे जिले में फैलाया जाएगा। पार्टी का कहना है कि “कानून सबके लिए समान है, किसी अधिकारी को उसके ऊपर नहीं रखा जा सकता।”

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