Edited By Imran,Updated: 22 Dec, 2023 01:15 PM

बृजभूषण शरण सिंह के करीबी संजय सिंह ने भारतीय कुश्ती संघ के अध्यक्ष का पद के चुनाव में अपनी प्रतिद्वंदी अनीता श्योराण को शिकस्त दी। शानदार जीत के बाद जहां बृजभूषण के बेटे प्रतीक भूषण सिंह ने एक तस्वीर सोशल मीडिया पर साझा की तो वहीं अब बृजभूषण शरण...
लखनऊ: बृजभूषण शरण सिंह के करीबी संजय सिंह ने भारतीय कुश्ती संघ के अध्यक्ष का पद के चुनाव में अपनी प्रतिद्वंदी अनीता श्योराण को शिकस्त दी। शानदार जीत के बाद जहां बृजभूषण के बेटे प्रतीक भूषण सिंह ने एक तस्वीर सोशल मीडिया पर साझा की तो वहीं अब बृजभूषण शरण सिंह के बाहर लगे पोस्टर लग गए हैं जिनमें लिखा है- 'दबदबा तो है दबदबा तो रहेगा, ये तो भगवान ने दे रखा है।'
आपको बता दें कि यूपी कुश्ती संघ के उपाध्यक्ष संजय को 40 जबकि उनकी प्रतिद्वंद्वी और राष्ट्रमंडल खेलों की पूर्व स्वर्ण पदक विजेता अनिता श्योराण को सिर्फ सात मत मिले। संजय ने चुनावों में जीत दर्ज करने के बाद संवाददाताओं से कहा, ‘यह देश के हजारों पहलवानों की जीत है जिन्हें पिछले सात से आठ महीनों में नुकसान उठाना पड़ा है।’
अनिता का पैनल हालांकि महासचिव पद अपने नाम करने में सफल रहा जब प्रेम चंद लोचब ने दर्शन लाल को हराया। रेलवे खेल संवर्धन बोर्ड के पूर्व सचिव लोचब ने 27-19 से जीत दर्ज की। राष्ट्रीय राजमार्ग पर ‘फूड ज्वाइंट्स की चेन’ चलाने वाले और प्रदर्शनकारी पहलवानों के करीबी माने जाने वाले देवेंद्र सिंह कादियान ने आईडी नानावटी को 32-15 से हराकर वरिष्ठ उपाध्यक्ष पद पर कब्जा जमाया।
बृजभूषण शरण सिंह ने बोला-
WFI के पूर्व प्रमुख बृजभूषण शरण सिंह ने उनके सहयोगी संजय सिंह की जीत पर कहा है यह मेरी व्यक्तिगत जीत नहीं है, यह देश के पहलवानों की जीत है। मुझे उम्मीद है कि नए महासंघ के गठन के बाद कुश्ती प्रतियोगिताएं फिर से शुरू होंगी। उन्होंने कहा कि 11 महीनों से कुश्ती पर जो ग्रहण लगा था वो अब हटने जा रहा है। उन्होंने कहा कि मैं जीत का श्रेय देश के पहलवानों और WFI के सचिव को देना चाहता हूं। मुझे उम्मीद है कि नई फेडरेशन के गठन के बाद कुश्ती प्रतियोगिताएं फिर से शुरू होंगी।'
2009 में चुने गए थे कुश्ती संघ का उपाध्यक्ष
संजय सिंह पूर्वी यूपी के चंदौली जिले के रहने वाले हैं। इस समय वो वाराणसी में अपने परिवार के साथ रहते हैं। संजय सिंह बबलू पिछले डेढ़ दशक से भी ज्यादा समय से कुश्ती संघ से जुड़े हैं और बृजभूषण शरण सिंह के काफी नजदीकी माने जाते हैं। वो 2008 से ही वाराणसी कुश्ती संघ के जिला अध्यक्ष हैं। संजय सिंह बबलू का 2009 में प्रदेश कुश्ती संघ के उपाध्यक्ष के रूप में चयन हुआ था।
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साक्षी मलिक ने छोड़ी कुश्ती
इस बार बृजभूषण के विश्वासपात्र रहे संजय सिंह डब्ल्यूएफआई के अध्यक्ष बने हैं। इसे लेकर अब सियासत भी तेज हो गई है। महिला खिलाड़ी विनेश फोगाट ने इस पर कड़ी नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि उभरती हुई महिला पहलवानों को भी झेलना पड़ेगा शोषण। वहीं डब्ल्यूएफआई चुनाव प्रतिक्रिया पर साक्षी मलिक ने कुश्ती से संन्यास की घोषणा की और कहा कि वह बृजभूषण के विश्वासपात्र की अध्यक्षता में नहीं खेलेंगी।