Edited By Pooja Gill,Updated: 21 Jan, 2023 12:09 PM
Bareilly News: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के बरेली (Bareilly) से इंसानियत को शर्मसार करने वाला एक मामला सामने आया है। जहां पर एक युवती ने आरोप लगाया है कि बरेली के मेयर उमेश गौतम ने अपने साथियों के साथ मिल कर उसके साथ गैंगरेप...
Bareilly News: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के बरेली (Bareilly) से इंसानियत को शर्मसार करने वाला एक मामला सामने आया है। जहां पर एक युवती ने आरोप लगाया है कि बरेली के मेयर उमेश गौतम ने अपने साथियों के साथ मिल कर उसके साथ गैंगरेप (gang rape) की वारदात को अंजाम दिया है। यह शिकायत लेकर पीड़िता पुलिस के पास गई थी, लेकिन पुलिस ने उसकी इस शिकायत के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की। जिसके बाद पीड़िता ने SSP के पास जाकर अपनी आपबीती सुनाई। अब SSP के निर्देश के बाद पुलिस मामले की जांच में जुटी है।
बता दें कि यह मामला जिले के सिविल लाइंस थाना क्षेत्र का है। जहां पर एक महिला ने मेयर उमेश गौतम पर अपने साथियों के साथ मिल कर गैंगरेप की वारदात को अंजाम देने का आरोप लगाया है। एसएसपी के ही निर्देश पर पुलिस ने केस दर्ज कर पीड़िता का कोर्ट में बयान दर्ज कराया है। पुलिस ने पीड़ित महिला के बयान के आधार पर मेयर समेत 3 आरोपियों के खिलाफ गैंगरेप की धारा 376 डी के साथ ही IPC की धारा 328 के तहत केस दर्ज किया है।
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पीड़िता ने बताया कि आरोपियों ने इस वारदात को 6 दिसंबर को अंजाम दिया था। उस समय वह मेडिकल स्टोर पर दवा लेने के लिए घर से निकली थी। रास्ते में आरोपियों ने उसे अपनी कार में खींच लिया और कोई नशे की डोज दे दी।
पीड़िता ने लगाई SSP से न्याय की गुहार
पीड़िता ने बताया कि जब आरोपियों ने उसे नशे की डोज दी तो वो अचेत हो गई। जिसके बाद कार की पिछली सीट पर पहले मेयर ने और फिर 2 अन्य लोगों ने उसके साथ दुष्कर्म किया। वहीं, पीड़िता ने बताया कि आरोपियों ने बेहोशी की हालत में उसे सड़क पर फेंक दिया और फरार हो गए। इसके बाद होश में आने पर उसने एक राहगीर के फोन से पुलिस को सूचना दी और अगले दिन केस दर्ज कराया।
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जिसके बाद पुलिस ने महिला का कोर्ट में 16 दिसंबर 2022 को कलमबंद बयान कराया था। इसमें पीड़िता ने मेयर उमेश गौतम का नाम लेते हुए पूरा मामला बताया था। बावजूद इसके जब पुलिस ने मेयर के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की तो पीड़िता ने एसएसपी से न्याय की गुहार लगाई।
मेयर ने पीड़िता द्वारा लगाए आरोपों को मानने से किया इनकार
पीड़िता द्वारा लगाए आरोपों को मेयर उमेश गौतम ने खारिज करते हुए इसे राजनीतिक षड्यंत्र करार दिया। उन्होंने कहा कि वह इस महिला को जानते तक नहीं, जबकि महिला का कहना है कि वह साल 2006 से 2015 तक डॉ. उमेश गौतम के यहां नौकरी करती थी। हाल ही में मेयर द्वारा उत्पीड़न किए जाने से परेशान होकर उसने नौकरी छोड़ दी है। इसके जवाब में मेयर ने कहा कि उनके राजनीतिक जीवन को खत्म करने के लिए विरोधियों की यह साजिश है। ऐसा कहते हुए मेयर ने पीड़िता के लगाए इन आरोपों को नकारा है।