वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए हो सभी कैदियों की पेशी, जरूरी हो तो किया जाए कानून में संशोधन: योगी

Edited By Ruby,Updated: 07 Aug, 2019 01:56 PM

all prisoners should be produced through video conferencing

लखनऊः उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी कैदियों की अदालत में पेशी की कार्यवाही को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये कराने के निर्देश देते हुए कहा है कि इसके लिये जरूरत पड़ने पर कानून में बदलाव भी किया जाए। योगी ने मंगलवार रात कारागार...

लखनऊः उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी कैदियों की अदालत में पेशी की कार्यवाही को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये कराने के निर्देश देते हुए कहा है कि इसके लिये जरूरत पड़ने पर कानून में बदलाव भी किया जाए। योगी ने मंगलवार रात कारागार प्रशासन एवं सुधार विभाग की समीक्षा बैठक में अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि कैदियों की शत-प्रतिशत रिमांड वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से कराई जाए। इसके लिए अगर कानून में संशोधन कराना जरूरी हो, तो किया जाए।

उन्होंने कहा, ‘‘उस संशोधन को कराकर कैदियों की पेशी की कार्यवाही वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से कराई जाए। इससे कैदियों को बाहर ले जाने की जरूरत नहीं होगी और वे बाहरी व्यक्तियों के सम्पर्क में नहीं आ सकेंगे।'' मुख्यमंत्री का यह आदेश पिछले महीने सम्भल में कैदियों को पेशी पर ले जाते वक्त दो पुलिसकर्मियों की हत्या करके तीन कैदियों को छुड़ा ले जाने तथा पूर्व में पेशी के लिए लाये गये कैदियों के फरार होने जाने की घटनाओं के मद्देनजर महत्वपूर्ण माना जा सकता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कारागारों में सीसीटीवी कैमरा तथा अन्य आवश्यक उपकरण जल्द लगाये जाए और जेलों से संचालित की जा रही अवैध गतिविधियों पर पूरी तरह रोक लगायी जाए। शातिर अपराधियों के साथ किसी भी प्रकार की रियायत न बरती जाए। उन्होंने प्रदेश के विभिन्न कारागारों की व्यवस्था और कार्य प्रणाली के संबंध में नियमित निरीक्षण किये जाने के निर्देश भी दिए।

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