Edited By Moulshree Tripathi,Updated: 20 Dec, 2020 02:30 PM
ईर्ष्या तू न गई मेरे मन से...जलन या ईर्ष्या यदि किसी के मन में जगह बना ले तो वो एक अच्छे इंसान को भी बूरा बना सकती है और बर्बाद करने की क्षमता रखती है। केरल...
यूपी डेस्कः ईर्ष्या तू न गई मेरे मन से...जलन या ईर्ष्या यदि किसी के मन में जगह बना ले तो वो एक अच्छे इंसान को भी बूरा बना सकती है और बर्बाद करने की क्षमता रखती है। केरल के बेघर भले मानस शिवदासन के साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ जहां उसकी प्रसिद्धि से चिढ़कर उनकी हत्या कर दी गई।
बता दें कि शिवदासन जो कि डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम की मूर्ति को साफ करते थे और फूल चढ़ाते थे उनका लाश मिली है। वह कोच्ची के मरीन ड्राइव पर सड़क के किनारे ही रहते थे। शुरुआत में लोगों का लगा कि उनकी सामान्य मौत हुई है लेकिन, उनके शरीर पर लगे चोट के निशान व पुलिस की जांच में ये स्पष्ट हो गया कि उनकी हत्या हुई है।
दरअसल शिवदासन पूर्व राष्ट्रपति डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम के बहुत बड़े प्रशंसक थे। वह केरल में रहते हुए उनसे दो बार मिल चुके थे। सड़क पर रहते हुए उन्होंने कलाम की एक मूर्ति देखी और ऐसे ही पड़ी रहती थी। मूर्ति को इस तरह देखकर शिवदासन दुखी हुए और उन्होंने उसकी सफाई की। इसे बाद उन्होंने पास से कुछ फूल इकट्ठा किए और वहां चढ़ा दिए। यह काम वह प्रतिदिन करने लगे। कोल्लम जिले के रहने वाले कारपेंटर शिवदासन कुछ ही दिन में सोशल मीडिया पर वायरल हो गए। इसके बाद बहुत से लोग उन्हें मिलने आने लगे। लोग उन्हें पैसे देने की कोशिश करते। कुछ लोगों ने उन्हें घर भी ऑफर किया।
इस बीच वहां सड़क किनारे रहने वाला एक और शख्स राजेश शिवदासन से पैसे मांगने लगा.वह शिवदाशन की लोकप्रियता से चिढ़ने लगा। वह शिवदासन से लड़ाई किया और फिर इस दौरान उनकी पिटाई कर दी। इसी से शिवदासन की मौत हो गई। जांच में पता चला कि 40 साल का राजेश शिवदासन की लोकप्रियता से जलता था.इससे क्रोध में आकर उसने उसकी हत्या कर दी।