Edited By Ajay kumar,Updated: 10 Jul, 2023 02:57 PM

पसमांदा मुस्लिम समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष अनीस मंसूरी ने आल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड और उससे जुड़े मुस्लिम संगठनों और उलेमा पर आरोप लगाया है कि वह साजिश के तहत देश के 85 फीसदी पसमांदा मुसलमानों को यूसीसी से भयभीत करने का काम कर रहे हैं।
लखनऊ: पसमांदा मुस्लिम समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष अनीस मंसूरी ने आल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड और उससे जुड़े मुस्लिम संगठनों और उलेमा पर आरोप लगाया है कि वह साजिश के तहत देश के 85 फीसदी पसमांदा मुसलमानों को यूसीसी से भयभीत करने का काम कर रहे हैं।

बहुत जल्द वह ऐसे मौलानाओं को बेनकाब करेंगे
अनीस मंसूरी ने कहा है कि बहुत जल्द वह ऐसे मौलानाओं को बेनकाब करेंगे। आल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड और उससे जुड़े संगठन तथा मौलाना एक राजनीतिक पार्टी को फायदा पहुंचाने के लिए पसमांदा मुसलमानों के बीच यूसीसी का आतंक फैला रहे हैं। उन्होंने कहा कि बकरीद के दिन स्वीडन में हुई कुरान के अपमान की घटना से जहां दुनिया भर के मुसलमानों में गुस्सा है और कई देशों की सरकारें स्वीडन सरकार की कड़े शब्दों में निंदा कर रही हैं, वहीं मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड, मुस्लिम संगठन और मौलानाओं ने न तो इस घटना की निंदा की और न ही स्वीडन सरकार के खिलाफ कुछ कहा। डेढ़ साल पहले बीजेपी की एक नेत्री ने पैगम्बर मोहम्मद साहब की शान में गुस्ताखी की थी, तब भी पर्सनल लॉ बोर्ड और उससे जुड़े संगठन खामोश बने रहे थे। जब यह मामला पूरी दुनिया में चर्चा का विषय बन गया तब एक मौलाना ने एक वीडियो जारी कर इस मुद्दे पर अपनी संवेदना प्रकट की थी।
तथाकथित सियासी मौलानाओ की अकूत सम्पत्ति की कराई जाए जांच
अनीस मंसूरी ने कहा है कि यूसीसी के खिलाफ आवाज उठाने वाले मौलाना बताएं कि उन्होंने कुरान और हजरत मोहम्मद साहब के अपमान के मामले में खामोश रहकर किसके साथ सौदा है किया था। अनीस मंसूरी ने सरकार से मांग की है कि पसमांदा मुसलमानों को धोखा देने और उनका हक़ मारने वाले तथाकथित सियासी मौलानाओ की अकूत सम्पत्ति की ईडी, सीबीआई और इनकम टैक्स विभाग से जांच कराई जाए ताकि इनका सच सामने आ सके।