Edited By prachi,Updated: 24 Jan, 2020 07:15 PM
जनता दल यूनाइटेड (जदयू) ने राज्य में कथित बिगड़ती कानून-व्यवस्था का हौवा खड़ा करके लगातार बिहार की छवि खराब करने की असफल चेष्टा करने को लेकर नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पर हमला बोला। जदयू प्रवक्ता ने कहा कि राष्ट्रीय अपराध अभिलेख ब्यूरो के वर्ष 2018...
पटनाः जनता दल यूनाइटेड (जदयू) ने राज्य में कथित बिगड़ती कानून-व्यवस्था का हौवा खड़ा करके लगातार बिहार की छवि खराब करने की असफल चेष्टा करने को लेकर नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पर हमला बोला। जदयू प्रवक्ता ने कहा कि राष्ट्रीय अपराध अभिलेख ब्यूरो के वर्ष 2018 के लिए बिहार में प्रति लाख व्यक्तियों पर अपराध के जारी आंकड़ों का राज्य पुलिस महानिदेशालय के विश्लेषण से उन्हें करारा जवाब मिल गया है।
जदयू प्रवक्ता राजीव रंजन प्रसाद ने कहा कि अब बिल्कुल स्पष्ट है कि वर्ष 2017 के मुकाबले वर्ष 2018 में आपराधिक घटनाओं में कमी आई है। 2017 में जहां अपराध दर 223.9 थीं वहीं 2018 में यह घट कर 221.1 रह गई। इस तरह बिहार देश में भारतीय दंड विधान के तहत दर्ज कांडों के आधार पर प्रति लाख व्यक्तियों पर अपराध की तालिका में 23वें स्थान पर है।
प्रसाद ने कहा कि वहीं, महिलाओं के विरुद्ध उत्पीड़न के दर्ज मुकदमे राष्ट्रीय औसत से आधी है। उन्होंने कहा कि महिलाओं की सुरक्षा के सवाल पर घड़ियाली आंसू बहाने वाले तेजस्वी यादव को समझ जाना चाहिए कि महिलाओं के उत्पीड़न की तालिका में बिहार 29वें पायदान पर है इसलिए अब इस पर उनके लिए सियासत आसान नहीं होगी।
राजीव रंजन प्रसाद ने कहा कि महिलाओं के साथ दुष्कर्म के मामलों में राज्य देश में 33वें स्थान पर है। उन्होंने बताया कि शराबबंदी के बाद दंगों एवं झड़पों में तो कमी आई है। उन्होंने कहा कि राज्य की नीतीश सरकार के लिए कानून-व्यवस्था यूएसपी की तरह है। प्रसाद ने बताया कि हत्या के मामले में बिहार सूची में 11वें और डकैती के मामले में 16वें स्थान पर है। उन्होंने बताया कि लूट, गृहभेदन एवं चोरी की घटनाएं तो देश के अन्य राज्यों के मुकाबले बिहार में बेहद कम है। जदयू प्रवक्ता ने बताया कि बिहार सूची में अपहरण के मामले में पंद्रहवें जबकि फिरौती के लिए अपहरण के मामले में अंतिम स्थान पर है। उन्होंने कहा कि राज्य में विपक्ष का रवैया बेहद गैर जिम्मेदाराना है। झूठ और अफवाहों के बल पर सत्य को पराजित नहीं किया जा सकता है।