Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 30 Jun, 2019 11:45 AM
केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री रामदास अठावले ने यूपी में 17 पिछड़ी जातियों को अनुसूचित जाति में शामिल करने पर प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि कई दिनों से उनकी ये मांग थी कि ओबीसी समाज के लोगों को एससी में डा...
लखनऊः केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री रामदास अठावले ने यूपी में 17 पिछड़ी जातियों को अनुसूचित जाति में शामिल करने पर प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि कई दिनों से उनकी ये मांग थी कि ओबीसी समाज के लोगों को एससी में डालने का काम स्वागतयोग्य है। अभी आरक्षण 21 प्रतिशत है, उसको बढाने का निर्णय भी होना चाहिए, इससे मनमुटाव भी कम हो जाएगा।
प्रस्ताव पर सकारात्मक रूप से करेंगे विचार
यूपी सरकार की पहल पर उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को प्रस्ताव भेजने का अधिकार है। अभी हमारा मंत्रालय भी इसपर विचार करेगा बाद में बिल आएगा विचार के बाद तब इसे मान्यता मिल सकती है। सरकार ने जो प्रस्ताव भेजा है, उसपर सकारात्मक रूप से विचार करेंगे। राज्य का रिजर्वेशन देने का अधिकार राज्य सरकार को है केंद्र का केंद्र सरकार को है। इसलिए थोड़ा प्रतिशत बढ़ाने के सम्बन्ध में प्रस्ताव राज्य सरकार रख सकती है।
अठावले ने की योगी सरकार की तारिफ
योगी सरकार की तारीफ करते हुए उन्होंने कहा कि आदित्यनाथ के नेतृत्व में यहां विकास हो रहा है। उनके साथ आज सुबह बात हुई, लोकसभा में विजय पर उनका अभिनंदन किया। बसपा और सपा का यहां सफाया हो गया।
सपा के सपोर्ट से बसपा को मिली 10 सीटें
उन्होंने कहा कि जिन्होंने मोदी को हराने के प्लान किया था। मोदी को बहुत बड़ी सफलता मिली है। मोदी ने 5 साल गरीबों के लिए काम किया। सभी मोदी का विरोध कर रहे थे। बीजेपी का बहुत बड़ा नुकसान नहीं हुआ, सपा का कोई फायदा नही हुआ लेकिन सपा के सपोर्ट से मायावती जी की 10 सीटे आ गई। बसपा का वोट सपा को नहीं मिला वो बीजेपी की तरफ चला गया। अब इनका गठबन्धन और दिल दोनों टूट चुके हैं। आज आरपीआई के बारे में बात हुई, आने वाले चुनावों में कुछ सीटे अगर मिलती हैं, तो हम भी चुनाव में उतर सकते हैं। मुख्यमंत्री से सम्बन्ध बहुत अच्छे हैं।
अठावले ने मायावती पर ली चुटकी
रामदास अठावले ने मायावती पर चुटकी लेते हुए कहा कि मायावती को निवेदन है, मोदी को हराने के लिए मायावती चालाकी से समाजवादी पार्टी के साथ चली गई और 2 से 3 महीने में अलग भी हो गई। मैंने पहले ही कहा था सपा के साथ न जाकर अपनी पार्टी को मजबूत करने के लिए बीजेपी के साथ आने के लिए। बहुत सारे बसपा के कार्यकर्ता हमारे साथ आरपीआई में आ रहे हैं।