Edited By Ajay kumar,Updated: 21 May, 2024 09:36 PM
सोमवार को गाजीपुर व बुलंदशहर में एक-एक फार्मासिस्ट की हार्ट अटैक से मौत हो गई है। इसी प्रकार बीते पांच दिनों में स्वास्थ्य विभाग में सेवारत छह फार्मासिस्टों की ड्यूटी के दौरान मौत हो चुकी है। आकस्मिक मौतों पर फार्मासिस्ट फेडरेशन उ.प्र. ने मौत के...
लखनऊ: सोमवार को गाजीपुर व बुलंदशहर में एक-एक फार्मासिस्ट की हार्ट अटैक से मौत हो गई है। इसी प्रकार बीते पांच दिनों में स्वास्थ्य विभाग में सेवारत छह फार्मासिस्टों की ड्यूटी के दौरान मौत हो चुकी है। आकस्मिक मौतों पर फार्मासिस्ट फेडरेशन उ.प्र. ने मौत के कारणों की जांच की मांग की है।
पांच फार्मासिस्टों की ड्यूटी के दौरान हार्ट अटैक से मौत बनी चिंता का विषय
बुलंदशहर मालागढ़ के जिला अस्पताल में कार्यरत फार्मासिस्ट सूरज और गाजीपुर में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बाराचवर में तैनात फार्मेसिस्ट 40 वर्षीय वकार शाहिद की दोपहर एक बजे हार्ट अटैक् से मृत्यु हो गई है। इसके पहले 15 मई को प्रयागराज में सीएचसी हंडिया में तैनात फार्मासिस्ट प्रमोद यादव कार की अस्पताल के रास्ते में ही हृदयाघात से कार में मृत हो गई न थी। उसी दिन कौशांबी मंझनपुर में कार्यरत फार्मेसिस्ट सदाशिव सिंहकी भी अस्पताल में हार्ट अटैक से मृत्यु हो चुकी है। इसके बाद 17 मई को सिद्धार्थनगर स्थित माधव प्रसाद त्रिपाठी मेडिकल कॉलेज में कार्यरत फार्मासिस्ट बी नारायण की भी सड़क दुर्घटना में मृत्यु हो गई। अगले दिन 18 मई को प्रयागराज में ही रामनगर सीएचसी में तैनात फार्मेसिस्ट जय सिंह की अस्पताल में ही हार्ट अटैक पड़ने से मृत्यु हो गई।
अध्यक्ष फार्मासिस्ट फेडरेशन उम्र सुनील यादव
छह फार्मासिस्टों के निधन में केवल एक की मार्ग दुर्घटना से मृत्यु हुई जबकि अन्य सभी की मृत्यु का कारण अज्ञात है। सभी की उम्र 40 से 52 के मध्य में है। इस प्रकार की आकस्मिक मौतों के कारणों की वजह जानने के लिए शोध होने चाहिए। जारी शोधों को गति प्रदान करने के लिए केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा बढ़ावा मिलना चाहिये।