Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 28 Jan, 2023 11:42 AM
समाजवादी पार्टी के स्वामी प्रसाद मौर्य रामचरितमानस पर विवादित बयान देकर पिछले कई दिनों से विवादों में हैं। वो विवाद अभी थम नहीं कि स्वामी प्रसाद मौर्य ने एक और विवादित बयान दे दिया। जिसके बाद...
लखनऊ: समाजवादी पार्टी के स्वामी प्रसाद मौर्य रामचरितमानस पर विवादित बयान देकर पिछले कई दिनों से विवादों में हैं। वो विवाद अभी थम नहीं कि स्वामी प्रसाद मौर्य ने एक और विवादित बयान दे दिया। जिसके बाद स्वामी प्रसाद मौर्य संतों के निशाने पर आ गए हैं। इस पर नाराजगी जताते हुए राम जन्मभूमि के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने कहा कि साधु-संत भगवान के भक्त हैं, वो उनके कहने से आतंकवादी-जल्लाद नहीं हो जाएंगे। जिसकी जो मानसिकता होती है, वो वही साधुओं के प्रति व्यक्त करता है। उनकी मानसिकता जल्लाद, राक्षस, पिशाच की है, इसी भाव से वे बोल रहे हैं। उन्होंने कहा कि इसकी टिप्पणी पर आचार्य सत्येंद्र दास ने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्य पागल हो गए हैं। पागल की जगह या तो जेल या पागलखाने में होती है।
दरअसस, मौर्य ने कहा कि फेसबुक और ट्विटर पर उनकी जीभ और सिर काटने वाले संतों, महंतों और धर्माचर्यों को अब क्या कहा जाए। सपा नेता ने इनके लिए आतंकवादी, महाशैतान और जल्लाद जैसे शब्दों का भी इस्तेमाल किया है। स्वामी प्रसाद मौर्य ने फेसबुक पर एक पोस्ट शेयर की है। उन्होंने लिखा कि धर्म के नाम पर आदिवासियों, दलितों, पिछड़ों और महिलाओं पर की गई आपत्तिजनक टिप्पणी को प्रतिबंधित किए जाने की मांग पर कुछ धर्म के ठेकेदारों ने मेरी जीभ काटने और सिर काटने वालों को इनाम घोषित किया है। अगर यही बात कोई और कहता तो यही ठेकेदार उसे आतंकवादी कहते, लेकिन अब इन संतों, महंतों, धर्माचार्यों और जाति विशेष लोगों को क्या कहा जाए आतंकवादी, महाशैतान या जल्लाद।
स्वामी प्रसाद मौर्य का विवादित बयान...
बता दें कि स्वामी प्रसाद मौर्य रामचरितमानस पर विवादित बयान देकर निशाने पर आए। स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा था कि कई करोड़ लोग रामचरित मानस को नहीं पढ़ते, सब बकवास है। यह तुलसीदास ने अपनी खुशी के लिए लिखा है सरकार को इसका संज्ञान लेते हुए रामचरित मानस से जो आपत्तिजनक अंश है, उसे बाहर करना चाहिए या इस पूरी पुस्तक को ही बैन कर देना चाहिए। मौर्य के इस बयान को लेकर हिन्दू संगठन, कई नेता और संत समाज ने कड़ा विरोध किया है।