Edited By Mamta Yadav,Updated: 21 Sep, 2023 12:43 AM

महिला आरक्षण विधेयक को आधा अधूरा करार देते हुये समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने बुधवार को कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने नये संसद भवन में अपनी पारी ‘महाझूठ’ से शुरू की है।
Lucknow News: महिला आरक्षण विधेयक को आधा अधूरा करार देते हुये समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने बुधवार को कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने नये संसद भवन में अपनी पारी ‘महाझूठ’ से शुरू की है।

आधा-अधूरा बिल ‘महिला आरक्षण’ जैसे गंभीर विषय का उपहास: अखिलेश
सपा अध्यक्ष ने ने ट्वीट किया “ नयी संसद के पहले दिन ही भाजपा सरकार ने ‘महाझूठ’ से अपनी पारी शुरू करी है। जब जनगणना और परिसीमन के बिना महिला आरक्षण बिल लागू हो ही नहीं सकता, जिसमें कई साल लग जाएँगे, तो भाजपा सरकार को इस आपाधापी में महिलाओं से झूठ बोलने की क्या ज़रूरत थी। भाजपा सरकार न जनगणना के पक्ष में है न जातिगत गणना के, इनके बिना तो महिला आरक्षण संभव ही नहीं है।” उन्होंने कहा “ ये आधा-अधूरा बिल ‘महिला आरक्षण’ जैसे गंभीर विषय का उपहास है, इसका जवाब महिलाएं आगामी चुनावों में भाजपा के विरूद्ध वोट डालकर देंगी।” उधर पार्टी महासचिव प्रो रामगोपाल यादव और शिवपाल सिंह यादव ने भी बिल के लागू करने के मसौदे पर भाजपा सरकार पर तंज कसते हुये जातिगत गणना के आधार पर दलित और अल्पसंख्यक महिलाओं को आरक्षण देने की मांग की है।
प्रो यादव ने कहा “ समाजवादी पार्टी ने महिला आरक्षण में सदैव ओबीसी, दलित, आदिवासी और मायनॉरिटी की महिलाओं के लिए आबादी के अनुपात में आरक्षण की माँग की है। दुर्भाग्य से संसद में इन दवे पिसे और वंचित वर्गों की विरोधी मानसिकता के सदस्यों की भरमार है। बीजेपी में जो इन वर्गों के सदस्य हैं उनके मुँह पर ताला है। वे केवल एमपी बने रहने के लिए पिछड़ों के हक़ों की हत्या होते देख कर भी मुँह बंद किए रहते हैं। समाजवादी पार्टी को उम्मीद है कि आज नहीं तो कल संसद में वंचित समाज के हमदर्द सदस्यों का बहुमत होगा और हम पिछड़ों, दलित, आदिवासियों और अल्पसंख्यकों को न्याय दिलाने में सफल होंगे।” शिवपाल सिंह यादव ने कहा “ दलित, पिछड़ों, आदिवासी, अल्पसंख्यक समुदायों की महिलाओं के स्पष्ट समायोजन के बिना लैंगिक आरक्षण अर्थविहीन है।”