Edited By Mamta Yadav,Updated: 13 Aug, 2025 01:32 AM

उत्तर प्रदेश के कानपुर में चर्चित वकील अखिलेश दुबे की गिरफ्तारी के बाद एक विवादास्पद चेहरा सामने आया है। पुलिस की पोस्टिंग-जॉइनिंग से लेकर प्रमोशन तक के लिए बड़े-बड़े अफसर उसके ‘दरबार’ में नियमित हाजिरी लगाते थे, जिससे उसकी पहुँच कानपुर की कानून...
Kanpur News: उत्तर प्रदेश के कानपुर में चर्चित वकील अखिलेश दुबे की गिरफ्तारी के बाद एक विवादास्पद चेहरा सामने आया है। पुलिस की पोस्टिंग-जॉइनिंग से लेकर प्रमोशन तक के लिए बड़े-बड़े अफसर उसके ‘दरबार’ में नियमित हाजिरी लगाते थे, जिससे उसकी पहुँच कानपुर की कानून व्यवस्था तक बनी रही।
फर्जी रेप FIR, ब्लैकमेलिंग और प्रमोशन के लिए दरबार में हाजिरी
बता दें कि पुलिस और अपराधियों के बीच गहरी साझेदारी को उजागर करते हुए आरोप हैं कि दुबे ने पिछले 12 वर्षों में जमीन पर कब्जा, ब्लैकमेलिंग, फर्जी मुकदमे दर्ज कराने और वक्फ की जमीनों पर अवैध कब्जे जैसे कई संगीन अपराध किए। एक विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया इसी दौरान, जिसने राजनेताओं और पुलिस अधिकारियों तक जुड़े मामलों की जांच शुरू की।
ऑपरेशन ‘महाकाल’ के तहत कार्रवाई
एसआईटी के सदस्य, डीसीपी क्राइम की देखरेख में, सक्रिय रूप से जांच कर रहे हैं और किसी को छोड़ने का इरादा नहीं बताया गया है। इसके अलावा, ऑपरेशन ‘महाकाल’ के तहत चल रहे अभियान में भाजपा नेता रवि सतीजा की शिकायत पर अग्रिम कार्रवाई की गई। दुबे पर नेता को झूठे रेप मुकदमे में फंसाकर ₹50 लाख रंगदारी मांगने का आरोप है। एसआईटी ने अब तक 54 फर्जी रेप मामलों का भंडाफोड़ किया है, जिनमें से 10 सीधे दुबे से जुड़े पाए गए। एक होटल कारोबारी को दुबे ने झूठे केस में फंसाकर ₹2.5 करोड़ रंगदारी वसूली।
फर्जी रेप, वसूली, ब्लैकमेलिंग, डकैती समेत गहरे संगठित अपराध
वक्फ़ जमीन पर अवैध कब्जे का मामला भी गंभीरता से सामने आया है। दुबे और उनके भाई सर्वेश पर परमट स्थित वक्फ संपत्ति मामले में कोर्ट से भी केस चल रहा है। अब तक तीन मुख्य इलाकों (किदवई नगर, कोतवाली, कल्याणपुर) में 3 अलग-अलग एफआईआर दर्ज की गई हैं। इनमें फर्जी रेप, वसूली, ब्लैकमेलिंग, डकैती समेत गहरे संगठित अपराध शामिल हैं।