Edited By Harman Kaur,Updated: 05 Nov, 2022 10:35 AM

आगराः यूपी के आगरा जिले में साल 2012 में हुई हत्या मामले में आगरा कोर्ट के अपर जिला जज नसीमा खातून ने फैसला सुनाया है....
आगराः यूपी के आगरा जिले में साल 2012 में हुई हत्या मामले में आगरा कोर्ट के अपर जिला जज नसीमा खातून ने फैसला सुनाया है। इस मामले में 14 दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है और साथ ही 4.44 लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है।
बता दें कि साल 2012 में हत्या, जानलेवा हमला सहित अन्य धाराओं में आगरा के शमशाबाद थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था। इस मामले में शमशाबाद गांव के रहने वाले शिवाराम वादी थे। शिवराम ने रिपोर्ट में बताया कि तीन नवंबर की रात को वह अपने भाई नरोत्तम सिंह, भतीजा राम प्रकाश और भतीजा वीरेंद्र के साथ अपने खेतों में बिजली का काम करवा रहे थे। इसी दौरान वहां पर उनका पड़ोसी लाल बहादुर अपना कैंटर लेकर आ गया। इसके बाद उसने खेत में हो रहा बिजली का काम रुकवा दिया। वहीं, जब उन्होंने इस बात का विरोध किया तो गुस्से में आकर लाल बहादुर ने अपने साथियों को बुला लिया। इसके बाद सब ने लाठी, डंडों से उन पर हमला बोल दिया।
इसके बाद विवाद इतना बढ़ गया कि गोकुल सिंह नामक व्यक्ति ने शिवाराम के भतीजे राम प्रकाश को गोली मार दी, जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गए। साथ ही जगदीश नाम के एक व्यक्ति को गोली लगने से मौके पर ही उसकी मौत हो गई। वहीं, अब आगरा कोर्ट के अपर जिला जज नसीमा खातून ने आरोपियों को दोषियों मानते हुए फैसला सुनाया है। इस मामले में दोषी पाए गए लाल बहादुर उर्फ लल्ला, केशव, मोहन सिंह, मनोहर, राम कुमार, नवाब सिंह, रघुवीर, रमा शंकर, डेविड, गोकुल, नानकराम, रोहतम, गिरीश और गोकुल को आजीवन कारावास की सजा सुना दी है और साथ ही 4.44 लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है।