Edited By Anil Kapoor,Updated: 09 Jun, 2025 07:53 AM

Bahraich News: उत्तर प्रदेश में बहराइच जिले के हरदी इलाके के सिकंदरपुर गांव के पास 10 जून को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के चित्तौरा आने से पहले एक बड़ी सुरक्षात्मक चूक सामने आई है। जहां एक पेट्रोलियम कंपनी के नाम पर सर्वे का काम करते हुए लगभग 500...
Bahraich News: उत्तर प्रदेश में बहराइच जिले के हरदी इलाके के सिकंदरपुर गांव के पास 10 जून को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के चित्तौरा आने से पहले एक बड़ी सुरक्षात्मक चूक सामने आई है। जहां एक पेट्रोलियम कंपनी के नाम पर सर्वे का काम करते हुए लगभग 500 किलो अमोनियम नाइट्रेट विस्फोटक बरामद किया गया है। इस मामले में करीब 70 लोगों को हिरासत में लिया गया है।
पेट्रोलियम कंपनी के नाम पर विस्फोटक बिछाने का आरोप
मिली जानकारी के मुताबिक, 3 दिन पहले पेट्रोलियम कंपनी के कर्मचारी तीन वाहनों से लगभग 200 लोग हरदी इलाके के विभिन्न गांवों में सर्वे के बहाने पहुंचे थे। जब ग्रामीणों ने उनसे पूछा तो उन्होंने भेड़िया खोजने की बात कही। लेकिन इसके बाद सधुवापुर, लखनापुर, बालासराय, औराही और सिकंदरपुर समेत 20 किलोमीटर के दायरे में बोरिंग कर उसमें विस्फोटक डाल दिया गया।
ग्रामीणों ने विधायक को दी सूचना, लेकिन घंटों तक नहीं पहुंची मदद
जब रविवार को ग्रामीणों को इस विस्फोटक कार्य के बारे में पता चला, तो वे बड़ी संख्या में इकट्ठा हो गए। उन्होंने महसी के विधायक सुरेश्वर सिंह को सूचित किया। विधायक और ग्रामीण पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों को सूचना देने के लिए मौके पर पहुंचे, लेकिन घंटों तक कोई अधिकारी वहां नहीं पहुंचा। विधायक सुरेश्वर सिंह ने बताया कि मौके से एक कंटेनर में सैकड़ों किलो अमोनियम नाइट्रेट विस्फोटक बरामद हुआ। इसके बावजूद थाना प्रभारी संजय सिंह वाहन को जबरन ग्रामीणों से छुड़वा रहे थे। बाद में जिला अधिकारियों को जानकारी दी गई, तब जाकर पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी मौके पर पहुंचे
CM के आगमन से पहले संदिग्ध विस्फोटक बरामदगी पर सवाल
विधायक ने कहा कि मुख्यमंत्री के कार्यक्रम से मात्र 36 घंटे पहले इतनी बड़ी मात्रा में विस्फोटक बरामद होना किसी साजिश की ओर इशारा करता है। उन्होंने प्रशासन से इस मामले की गहन जांच की मांग की है।
सुरक्षा एजेंसियों को पहले भी हो चुका था अलर्ट
इससे पहले एसएसबी 42वीं वाहिनी के कमांडेंट गंगा प्रसाद ने सुरक्षा एजेंसियों को आगाह किया था कि 37 लोग नेपाल सीमा से बहराइच के रास्ते घुसपैठ कर सकते हैं। इनमें बांग्लादेशी और रोहिंग्या लोगों के शामिल होने की आशंका जताई गई थी। बावजूद इसके सुरक्षा में लापरवाही बरती गई।