पूर्व विधायक विजय मिश्र पर प्रशासन ने कसा शिकंजा, 3 करोड़ 34 लाख की जमीन की कुर्क

Edited By Ramkesh,Updated: 02 Sep, 2022 12:45 PM

administration tightens screws on former mla vijay mishra attachment

पूर्व विधायक विजय मिश्र की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही है। प्रशासन ने मिश्र और उनके परिजनों के नाम दर्ज 3 करोड़ 34 लाख की जमीन को पुलिस ने कुर्क कर दिया। पुलिस ने बताया कि ऊंज थाना क्षेत्र के नवधन में 5590 वर्ग मीटर जमीन को कुर्क किया है।...

भदोहीः पूर्व विधायक विजय मिश्र की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही है। प्रशासन ने मिश्र और उनके परिजनों के नाम दर्ज 3 करोड़ 34 लाख की जमीन को पुलिस ने कुर्क कर दिया। पुलिस ने बताया कि ऊंज थाना क्षेत्र के नवधन में 5590 वर्ग मीटर जमीन को कुर्क किया है। आरोप है कि उन्होंने जमीन को डरा धमका कर कब्जा किया था। पुलिस ने गैंगस्टर एक्ट के तहत डीएम के आदेश पर यह कार्रवाई की है। बता दें कि गैंगरेप के मामले में विजय मिश्र, बेटा विष्णु और पोता आकाश आरोपी हैं जो इस समय जेल में हैं।

एसपी डा. अनिल कुमार ने बताया कि ज्ञानपुर के पूर्व विधायक विजय मिश्र पेशेवर अपराधी है। गैंग बनाकर प्रॉपर्टी हड़पने समेत कई मामले विजय मिश्र और उसके परिजनों पर दर्ज हैं। अवैध रूप से धन एकत्र कर विजय मिश्र के गैंग के सदस्य आकाश मिश्र के माता व पिता के नाम पर करोड़ों रुपये की प्रापर्टी रजिस्ट्री कराई गई थी। उन्होंने बताया कि विजय मिश्र ने पोते आकाश मिश्र की मां पुष्पलता पत्नी प्रकाशचंद के नाम कौलापुर में 1.7370 हेक्टेयर भूमि डरा धमका कर रजिस्ट्री कराई थी। इस भूमि की कीमत 2.50 करोड़ आंकी गई है।

गौरतलब है कि विष्णु मिश्रा को गुरुवार को अदालत में पेश किया गया। विष्णु मिश्रा के खिलाफ कुल आठ मुकदमें दर्ज है। मिश्रा के अधिवक्ता आनंद शुक्ला ने बताया की विष्णु की मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट सबीहा खातून की अदालत में पेशी हुई, इसके बाद एक अन्य मुकदमे में अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट साधना गिरि की अदालत में उसे पेश किया गया। दो साल से फरार विष्णु मिश्रा को पकड़ने के लिए लुक आउट सर्कुलर भी जारी किया गया था। उसपर एक लाख रूपये का इनाम है।

विजय मिश्र को 2020 में मध्य प्रदेश से किया गया था गिरफ्तार
पुलिस के अनुसार, चार बार के पूर्व विधायक विजय मिश्र को 2020 में मध्य प्रदेश से गिरफ्तार किया गया था, उनके रिश्तेदार कृष्ण मोहन तिवारी ने उन पर संपत्ति हड़पने, धोखाधड़ी करने और जान से मारने की धमकी देने का आरोप लगाया था। वह फिलहाल आगरा जेल में बंद है, जबकि उसकी पत्नी समाजवादी पार्टी की नेता राम लाली मिश्रा को उच्च न्यायालय से जमानत मिल गई है।

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