''सेफ सिटी परियोजना’ के तहत राज्यपाल ने महिला पुलिस वाहनों को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया

Edited By PTI News Agency,Updated: 17 Oct, 2020 02:36 PM

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लखनऊ, 17 अक्टूबर (भाषा) उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने ‘सेफ सिटी परियोजना’ की शुरूआत करते हुये शनिवार को कहा कि महिलाओं की सुरक्षा, सम्मान एवं स्वावलम्बन हेतु महिला पुलिस कर्मियों का दस्ता पूरे शहर में भ्रमण करेगा, इससे सुरक्षा की...

लखनऊ, 17 अक्टूबर (भाषा) उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने ‘सेफ सिटी परियोजना’ की शुरूआत करते हुये शनिवार को कहा कि महिलाओं की सुरक्षा, सम्मान एवं स्वावलम्बन हेतु महिला पुलिस कर्मियों का दस्ता पूरे शहर में भ्रमण करेगा, इससे सुरक्षा की भावना एवं गौरव का बोध होगा।
राज्यपाल ने कहा कि ‘सेफ सिटी परियोजना’ 180 दिन चलने वाला अभियान है जिसके तहत पुलिस सहित सभी विभाग केन्द्रीकृत होकर महिला हितों के लिये कार्य करेंगे।
उन्होंने केन्द्र एवं राज्य सरकार द्वारा महिलाओं के लिये चलायी जा रही योजनाओं की प्रशंसा करते हुए कहा कि हमें देखना होगा कि इन योजनाओं का लाभ महिलाओं को मिले।
राजभवन द्वारी जारी एक बयान के मुताबिक राज्यपाल पटेल ने शनिवार को राजभवन से सेफ सिटी परियोजना का आरम्भ करते हुए 100 पिंक पेट्रोल स्कूटी एवं 10 चार पहिया महिला पुलिस वाहनों को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया।
निर्भया कोष से संचालित होने वाली ‘सेफ सिटी परियोजना’ के लिए चयनित देश के 8 महानगरों में लखनऊ भी सम्मिलित है।
उन्होंने कहा कि महिलाओं के प्रति अपराध बढ़ रहे हैं। ऐसे में समाज का दायित्व बढ़ जाता है।
उन्होंने कहा कि महिलाओं के लिये संचालित योजनाओं का सही ढंग से क्रियान्वयन नहीं होगा तो योजनाएं अपना महत्व खो देंगी। महिलाएं जब तक सामाजिक एवं आर्थिक रूप से दूसरों पर निर्भर रहेंगी तब तक उनका उत्पीड़न होता रहेगा। महिलाओं को सशक्त बनना होगा।
राज्यपाल ने कहा कि समाज में अपराधी एवं विकृत प्रवृत्ति के भी लोग हैं जिन्हें अपराध करने में संतोष मिलता है। छात्राओं को स्कूल जाते समय परेशान किया जाता है। ऐसे लोगों के कारण महिलाएं परिवार में भी स्वयं को सुरक्षित महसूस नहीं करतीं। उन्होंने कहा कि पुलिस ऐसे लोगों को चिह्नित कर अपराध करने से पूर्व ही रोके।
राज्यपाल ने कहा कि महिलाओं को उनके अधिकारों की जानकारियाँ ही नहीं होती हैं। महिलाओं को अपने क्षेत्र के थानों एवं स्थानीय अधिकारियों का भी पता नहीं होता है। जब महिलाएं एवं बेटियाँ पुलिस और थाने से डरेंगी तो सुरक्षा की भावना कैसे विकसित होगी।
उन्होंने कहा कि पुलिस एवं अन्य विभाग के अधिकारियों को अपने-अपने क्षेत्र में जाकर महिलाओं, विद्यालय की छात्राओं एवं शिक्षिकाओं तथा स्वयं सेवी महिला सगठनों से मिलकर महिलाओं के कल्याणार्थ चलायी जा रही योजनाओं एवं उनके अधिकारों की जानकारी देनी चाहिए, तब सकारात्मक परिणाम सामने आयेंगे।
राज्यपाल ने कहा कि विश्वविद्यालयों एवं शिक्षण संस्थानों का दायित्व केवल प्रवेश, शिक्षण, परीक्षा एवं परिणाम तक सीमित नहीं होना चाहिए। बेटियां सुरक्षित हैं कि नहीं, उन्हें अधिकारों की जानकारी है या नहीं, इस पर भी चर्चा होनी चाहिए।
अपर पुलिस महानिदेशक महिला एवं बाल सुरक्षा संगठन उत्तर प्रदेश नीरा रावत ने सेफ सिटी परियोजना के अंतर्गत लखनऊ में प्रारम्भ की गयी पिंक पेट्रोल योजना पर प्रकाश डालते हुए बताया कि इसमें केन्द्र सरकार द्वारा 60 प्रतिशत तथा राज्य सरकार द्वारा 40 प्रतिशत व्यय वहन किया जायेगा।

यह आर्टिकल पंजाब केसरी टीम द्वारा संपादित नहीं है, इसे एजेंसी फीड से ऑटो-अपलोड किया गया है।

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