Edited By Imran,Updated: 30 Jan, 2025 07:29 PM
महाकुंभ में हुई भगदड़ के 24 घंटे बाद सरकारी आंकड़े जारी किए गए जिसमें मरने वालों की संख्या 30 बताई गई थी, लेकिन सोशल मीडियो और सूत्रों के अनुसार, मौतों का आंकड़ा और ज्यादा होने की संभावनाए जताई जा रही है।
प्रयागराज: महाकुंभ में हुई भगदड़ के 24 घंटे बाद सरकारी आंकड़े जारी किए गए जिसमें मरने वालों की संख्या 30 बताई गई थी, लेकिन सोशल मीडियो और सूत्रों के अनुसार, मौतों का आंकड़ा और ज्यादा होने की संभावनाए जताई जा रही है। इसी बीच बंगाल के एक परिवार का आरोप है कि अधिकारियों ने बिना किसी आधिकारिक मृत्यु प्रमाण पत्र के उनके प्रियजनों के शव लौटा दिए, और उन्हें सबूत के तौर पर सिर्फ़ एक कागज़ का टुकड़ा दिया।
दरअसल, बुधवार की सुबह हुई भगदड़ में कोलकाता के गोल्फ ग्रीन की बसंती पोद्दार और पश्चिम मेदिनीपुर के सालबोनी की उर्मिला भुनिया की जान चली गई। बसंती के बेटे सुरजीत पोद्दार ने बताया कि पुलिस की अनुपस्थिति और लोगों की अचानक भीड़ उमड़ने के कारण भगदड़ मच गई। अप्रत्याशित भीड़ के कारण वह अपनी मां के लिए तत्काल चिकित्सा सहायता नहीं ले पाए।
सुरजीत का कहना है किभ्रम तब पैदा हुआ जब उन्हें बताया गया कि स्थानीय पुलिस द्वारा बाद में मृत्यु प्रमाण पत्र जारी किया जाएगा। इसी तरह, उर्मिला के भाई दुलाल भुनिया ने सुरजीत के अनुभव को दोहराते हुए बताया कि उनकी बहन के लिए कोई मृत्यु प्रमाण पत्र नहीं दिया गया, केवल एक नोट दिया गया जिसमें कोई आधिकारिक प्रमाण पत्र नहीं था।