Edited By Anil Kapoor,Updated: 05 Mar, 2024 09:17 AM
Rampur News: चुनाव आचार संहिता उल्लंघन के करीब 5 साल पुराने एक मामले में रामपुर की विशेष अदालत द्वारा हाल ही में 'फरार' घोषित की गई अभिनेत्री एवं पूर्व सांसद जया प्रदा आखिरकार सोमवार को न्यायालय में पेश हुईं। अदालत ने उन्हें हिरासत में लेने का आदेश...
Rampur News: चुनाव आचार संहिता उल्लंघन के करीब 5 साल पुराने एक मामले में रामपुर की विशेष अदालत द्वारा हाल ही में 'फरार' घोषित की गई अभिनेत्री एवं पूर्व सांसद जया प्रदा आखिरकार सोमवार को न्यायालय में पेश हुईं। अदालत ने उन्हें हिरासत में लेने का आदेश दिया मगर बीमारी की दलील को स्वीकार करते हुए 20-20 हजार रुपये के दो मुचलकों पर जमानत दे दी। रामपुर की विशेष एमपी/एमएलए अदालत ने गत 27 फरवरी को जयाप्रदा को चुनाव आचार संहिता उल्लंघन के दो मामलों में लगातार गैर-हाजिर रहने के चलते 'फरार' घोषित करते हुए पुलिस को उन्हें गिरफ्तार कर 6 मार्च को अदालत में हाजिर करने के आदेश दिये थे।
अभिनेत्री एवं पूर्व सांसद जया प्रदा को कुछ देर कठघरे में खड़े रहना पड़ा
वरिष्ठ अभियोजन अधिकारी अमरनाथ तिवारी ने बताया कि जया तय तारीख से पहले ही आज बेहद गुपचुप तरीके से अपने अधिवक्ताओं के साथ विशेष एमपी/एमएलए अदालत के न्यायाधीश शोभित बंसल के न्यायालय में हाजिर हुईं। अदालत ने मामले की सुनवाई करते हुए पूर्व सांसद को न्यायिक हिरासत में लेने के आदेश दिये, नतीजतन उन्हें कुछ देर कठघरे में खड़े रहना पड़ा। तिवारी ने बताया कि पूर्व सांसद जयप्रदा की अस्वस्थ रहने की दलील को अदालत ने मानते हुए उन्हें 20-20 हजार रुपये के दो मुचलकों पर सशर्त जमानत दे दी। इस दौरान जयाप्रदा ने अदालत को आश्वस्त किया कि वह अब सुनवाई की हर तारीख पर अदालत में हाजिर होंगी और हाजिरी माफी के लिए कोई दरखास्त नहीं लगाई जाएगी।
मामले में अब 6 मार्च को होगी अगली सुनवाई
आपको बता दें कि रामपुर से पूर्व सांसद जयप्रदा के विरुद्ध वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव के दौरान आचार संहिता के उल्लंघन से जुड़े दो मुकदमे कैमरी और स्वार थानों में दर्ज किये गये थे। इन मामलों में विशेष एमपी-एमएलए अदालत ने कई बार समन जारी किया मगर पूर्व सांसद हाजिर नहीं हुईं। उसके बाद अलग-अलग तारीखों पर उनके खिलाफ सात बार गैर जमानती वारंट जारी किए गये लेकिन पुलिस उन्हें हाजिर नहीं कर सकी। अभियोजन अधिकारी ने बताया कि पुलिस ने अदालत में दाखिल अपने जवाब में कहा कि जयाप्रदा खुद को बचा रही हैं और उनके सभी ज्ञात मोबाइल नम्बर भी बंद हैं। इस पर न्यायाधीश शोभित बंसल ने कड़ा रुख अपनाते हुए जयप्रदा को फरार घोषित कर दिया था। साथ ही रामपुर के पुलिस अधीक्षक को आदेशित किया था कि वह किसी पुलिस क्षेत्राधिकारी की अगुवाई में एक टीम गठित करें और जयप्रदा को गिरफ्तार कर सुनवाई की अगली तारीख यानी 6 मार्च को अदालत में हाजिर करें।