Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 10 Jan, 2019 12:12 PM
उत्तर प्रदेश की राजनीति में सीबीआई मुद्दे ने छलांग लगा दी है। सीबीआई द्वारा अवैध खनन मामले से अखिलेश के तार जुड़ने की आशंका के बाद से सभी राजनीतिक पार्टियों में बयानबाजी का सिलसिला शुरू हो गया है। ऐसे में सपा से खफा प्र...
लखनऊः उत्तर प्रदेश की राजनीति में सीबीआई (CBI) मुद्दे ने छलांग लगा दी है। सीबीआई द्वारा अवैध खनन (Illegal mining scam) मामले से अखिलेश यादव (Akhilesh yadav) के तार जुड़ने की आशंका जताने के बाद से सभी राजनीतिक पार्टियों में बयानबाजी का सिलसिला शुरू हो गया है। ऐसे में सपा से खफा प्रगतिशील समाजवादी पार्टी(Pragatisheel Samajwadi Party Lohia) के अध्यक्ष शिवपाल यादव(Shivpal yadav) कैसे पीछे रह सकते हैं। शिवपाल ने कहा कि भाजपा(BJP) ने खनन मामलों की जांच करने में बहुत देर कर दी।
भाजपा ने खनन की जांच में बहुत देरी कर दी- शिवपाल
उन्होंने कहा कि 2004 से 2007 तक मैं भी खनन मंत्री रहा हूं। मुझ पर आज तक कोई आरोप नहीं लगा। खनन में जो बेइमानी हुई है, उससे जनता को महंगाई का सामना करना पड़ा। मिट्टी, गिट्टी, बालू सभी महंगे मिले। भाजपा ने खनन की जांच में बहुत देरी कर दी। उन्होंने कहा, 2007 से 2012 तक (बसपा सरकार में) खनन की जांच होनी चाहिए थी। सरकार बने 2 साल होने जा रहे हैं, अब जांच लोकसभा चुनाव की वजह से कराई जा रही है।
भाजपा छोड़कर अन्य दलों से गठबंधन के खुले हैं विकल्प
शिवपाल सिंह ने मीडियाकर्मियों से बातचीत में कहा कि लोकसभा चुनाव के लिए सभी सेकुलर पार्टियों से गठबंधन के विकल्प खुले हैं बशर्ते वे सम्माजनक सीटें देने को तैयार हों। उन्होंने पिछड़े सवर्णों को 10 फीसदी आरक्षण का समर्थन किया लेकिन आशंका जताई कि कहीं यह भी जुमला बनकर न रह जाए। उन्होंने कहा कि प्रसपा सामाजिक परिवर्तन की लड़ाई लड़ रही है। भाजपा को छोड़कर कांग्रेस समेत अन्य दलों से बातचीत के लिए तैयार हैं। उनके साथ गठबंघन के विकल्प खुले हैं।