Edited By Punjab Kesari,Updated: 10 Sep, 2017 03:53 PM
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के लिए गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा सीट के उपचुनाव का परिणाम भाजपा के पक्ष में करना किसी अग्निपरीक्षा से कम नहीं है...
लखनऊः उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के लिए गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा सीट के उपचुनाव का परिणाम भाजपा के पक्ष में करना किसी अग्निपरीक्षा से कम नहीं है। योगी की ही तरह उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य भी विधान परिषद के सदस्य निर्वाचित हो गए है।
जानकारी के अनुसार योगी गोरखपुर और मौर्य फूलपुर लोकसभा सीट से सांसद हैं। इसी सप्ताह यह दोनों ही लोकसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे देंगे। इनके इस्तीफा देने के बाद दोनों सीटों पर उपचुनाव होगा। जिसके नतीजे भाजपा के पक्ष में आने पर ही माना जाएगा कि योगी अग्निपरीक्षा में कितना सफल हुए हैं।
आमतौर पर बहुजन समाज पार्टी उपचुनाव से अपने को अलग रखती है, लेकिन लगाए जा रहे कयास के अनुसार बसपा अध्यक्ष मायावती फूलपुर में विपक्ष की संयुक्त उम्मीदवार हो सकती हैं। राजनीतिक प्रेक्षक राजेन्द्र सिंह के अनुसार मायावती विपक्ष की संयुक्त उम्मीदवार के रुप में उपचुनाव लड़ती हैं तो भाजपा के लिए फूलपुर सीट जीतना लगभग नामुमकिन होगा।
योगी के राज्य विधान परिषद की सदस्यता हासिल कर लेने के बाद अब लाख टके का सवाल है कि गोरखपुर का अगला सांसद भी क्या गोरक्षपीठ से ही होगा। लोकसभा के पिछले 9 चुनाव में गोरखपुर का सांसद गोरक्षपीठ मंदिर से ही चुना जाता रहा है। सन् 1970 में पहली बार गोरक्षपीठाधीश्वर और योगी के गुरु महन्त अवैद्यनाथ निर्दलीय उम्मीदवार के रुप में गोरखपुर के सांसद चुने गए थे। महन्त अवैद्यनाथ ने 1989 में हिन्दू महासभा से और 1991 तथा 1996 में भाजपा प्रत्याशी के रुप में चुनाव जीतकर लोकसभा में गोरखपुर का प्रतिनिधित्व किया।