शिक्षा सचिव पर अवमानना के आरोप तय, 7 जनवरी को कोर्ट में पेश होने के निर्देश

Edited By Nitika,Updated: 10 Dec, 2018 05:43 PM

accuse of contempt on education secretary

उत्तराखंड में नैनीताल हाईकोर्ट ने शिक्षा सचिव भूपेन्द्र कौर औलख को कोर्ट की अवमानना का दोषी माना है। इसी के चलते उनके खिलाफ आरोप तय करते हुए उन्हें 7 जनवरी को अदालत में पेश होने के निर्देश दिए हैं।

 

नैनीतालः उत्तराखंड में नैनीताल हाईकोर्ट ने शिक्षा सचिव भूपेन्द्र कौर औलख को कोर्ट की अवमानना का दोषी माना है। इसी के चलते उनके खिलाफ आरोप तय करते हुए उन्हें 7 जनवरी को अदालत में पेश होने के निर्देश दिए हैं।

जानकारी के अनुसार, अधिवक्ता हर्षपाल शेखों ने बताया कि 2 सदस्यीय खंडपीठ ने सरकार की विशेष याचिका को खारिज कर दिया। उन्होंने बताया कि सरकार इससे भी नहीं मानी और उच्च न्यायालय के आदेश को उच्चतम न्यायालय में चुनौती दी। अधिवक्ता ने बताया कि अदालत ने इस मामले में स्वत: संज्ञान लिया और शासन से इस मामले में जवाब मांगा। इसके बावजूद शासन ने अदालत के आदेश को दरकिनार कर दिया। शिक्षा सचिव की ओर से बताया गया कि याचिकाकर्ताओं को शासनादेश के आधार पर भुगतान नहीं किया जा सकता है।

अधिवक्ता ने बताया कि इस जवाब से असंतुष्ट न्यायाधीश शरत कुमार शर्मा की अदालत ने सचिव भूपेन्द्र कौर औलख को सोमवार को अदालत में पेश होने के निर्देश जारी कर दिए। शिक्षा सचिव सोमवार को अदालत में पेशी हुईं। मामले की सुनवाई के बाद अदालत ने शिक्षा सचिव पर अवमानना के आरोप तय कर दिए हैं। अदालत ने औलख को 7 जनवरी 2019 को अदालत में व्यक्तिगत रूप से पेश होने के निर्देश जारी किए हैं।

बता दें कि मामला शिक्षा विभाग के कंप्यूटर ऑपरेटर एनलेसिस के पदों से जुड़ा हुआ है। अदालत ने ठेके पर नियुक्त 6 कर्मियों को 11 मार्च 2005 के शासनादेश के अंतर्गत महंगाई भत्ता और अन्य भुगतान करने के निर्देश दिए थे। इसके बाद सरकार की ओर से इस मामले में एक विशेष याचिका दायर की गई और एकलपीठ के आदेश को चुनौती दी गई।

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