Edited By Deepika Rajput,Updated: 18 Mar, 2019 09:50 AM
उत्तर प्रदेश में कांग्रेस की जड़ों को मजबूत करने की कवायद में जुटी पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा को गोंडा सीट सहयोगी अपना दल के हवाले करने के फैसले के खिलाफ कार्यकर्ताओं की नाराजगी से रूबरू होना पड़ा।
लखनऊः उत्तर प्रदेश में कांग्रेस की जड़ों को मजबूत करने की कवायद में जुटी पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा को गोंडा सीट सहयोगी अपना दल के हवाले करने के फैसले के खिलाफ कार्यकर्ताओं की नाराजगी से रूबरू होना पड़ा। राज्य के 4 दिवसीय दौरे पर रविवार को लखनऊ पहुंची प्रियंका ने चुनाव तैयारियों की समीक्षा की।
प्रयागराज के लिए निकल रही कांग्रेस महासचिव के सामने कार्यकर्ताओं ने जमकर नारेबाजी की। कार्यकर्ता इस बात से नाराज थे कि उनकी राय को जाने बिना पार्टी आलाकमान ने गोंडा सीट सहयोगी अपना दल को सौंप दी। उनका कहना था कि गोंडा में कांग्रेस की संभावनाएं प्रबल है। जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं से सलाह-मशविरा किए बिना लिए गए फैसले पार्टी के लिए घातक सिद्ध हो सकते हैं। इसलिए पार्टी आलाकमान को अपने इस फैसले पर पुनर्विचार करने की जरूरत है।
उल्लेखनीय है कि, रविवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस राजबब्बर ने बताया कि कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश में सपा-बसपा और रालोद गठबंधन के लिए 7 सीटें छोड़ी हैं। कांग्रेस मैनपुरी, कन्नौज, फिरोजाबाद, अखिलेश यादव की सीट (अगर चुनाव लड़ते हैं तो), मायावती की सीट (अगर चुनाव लड़ती हैं तो), अजित सिंह और जयंत चौधरी की सीट पर प्रत्याशी नहीं उतारेगी। वहीं कृष्णा पटेल की अपना दल के लिए गोंडा और पीलीभीत की सीट छोड़ी गई हैं।