Edited By Ramkesh,Updated: 01 Apr, 2024 12:48 PM
इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच ने असलहा धारकों को बड़ी राहत दी है। कोर्ट ने कोर्ट ने कहा कि जनरल आर्डर पर असलहा जमा नहीं करना होगा। पहले चुनाव के दौरान असलहा को जमा करना होता था लेकिन कोर्ट ने इस रोक लगा दी है।
लखनऊ: इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच ने असलहा धारकों को बड़ी राहत दी है। कोर्ट ने कोर्ट ने कहा कि जनरल आर्डर पर असलहा जमा नहीं करना होगा। पहले चुनाव के दौरान असलहा को जमा करना होता था लेकिन कोर्ट ने इस रोक लगा दी है। हाईकोर्ट ने इसको लेकर पूर्व के फैसलों का भी उल्लेख किया है। चुनाव के दौरान सामान्य तौर पर एक आदेश के जरिए प्रशासन सबके असलहे जमा करा लेता था। कोर्ट ने लंबी सुनवाई के बाद इस मामले में स्पष्ट आदेश दिया है। कोर्ट ले एक रिट राज्य सरकार को आदेश देते हुए जारी की जाती है कि याचिकाकर्ताओं सहित जिन नागरिकों के पास वैध शस्त्र लाइसेंस हैं, उन्हें केवल आगामी विधानसभा चुनावों के आधार पर अपने असलहा जमा करने के लिए मजबूर नहीं किया जा सकता है।
दअरसल, चुनाव के दौरान सामान्य तौर पर एक आदेश के जरिए प्रशासन सबके असलहे जमा करा लेता था। हाईकोर्ट ने कहा था कि राज्य चुनाव में सुरक्षा के उपायों को आधार बनाते हुए लोगों से असलहा जमा कराने के लिए नहीं कह सकते हैं। जारी किए गए आदेश में कहा गया था कि यदि किसी के असलहाधारी से कानून व्यवस्था को खतरा लगे तो उसके लाइसेंस को जमा करा सकते हैं।
गौरतलब है कि आदर्श आचार संहिता लागू होने के शस्त्र को संबंधित थानों में जमा कराने का सिलसिला भी शुरू हो जाता है। आचार संहिता लागू होते ही लाइसेंसधारकों को नोटिस भेजकर व फोन कर शस्त्र जमा करने का निर्देश दिया जाता है।