Edited By Nitika,Updated: 05 Jul, 2018 05:52 PM
उत्तराखंड में चारधाम यात्रा अपने चरम पर हैं। इसी के चलते केदारनाथ धाम ने भी इस बार सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। इसके बावजूद भी इस साल मानसून काल में आपदा प्रभावित केदारघाटी में जिंदगिया तोरों पर झूलती दिखाई दे रही हैं।
रुद्रप्रयागः उत्तराखंड में चारधाम यात्रा अपने चरम पर हैं। इसी के चलते केदारनाथ धाम ने भी इस बार सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। इसके बावजूद भी इस साल मानसून काल में आपदा प्रभावित केदारघाटी में जिंदगिया तोरों पर झूलती दिखाई दे रही हैं। इसके कारण सबसे अधिक परेशानी स्कूली बच्चों को आती है, जिन्हें घंटों तक लाइन में खड़ा होकर अपनी बारी का इंतजार करना पड़ता है।
जानकारी के अनुसार, आपदा के 5 सालों के बाद भी विजयनगर झूला पुल बनकर तैयार नहीं हो पाया है। सरकार केवल बातों को दोहरा रही है कि जल्द ही पुल बनाने की बातें कर रही है। इस बार तो लोक निर्माण विभाग ने दावा भी किया है कि 15 अगस्त तक पुल को आवाजाही के लिए तैयार कर दिया जाएगा। सरकार ने जनता के आक्रोश को आश्वासन देकर शांत करने का प्रयास किया जा रहा है।
बता दें कि केदारघाटी अभी भी 2013 में आई आपदा के दंश को झेल रही है। मानसून काल आते ही नदियों पर बनाए गए अस्थाई पुल को हटा दिया जाता है और उफनती मंदाकिनी नदी के ऊपर तारों पर मौत की ट्राली चलनी शुरू हो गई है। इन ट्रालियों के द्वारा कई बच्चों की जानें जा चुकी हैं तो कई इनके तारों से कट चुके हैं। इसके साथ ही कई बार तो उफनती नदी के बीच में ट्राली खराब हो जाने के कारण कई जिंदगियां घंटों तक हवा में झूलती रहती हैं।