Edited By prachi,Updated: 20 Nov, 2019 11:34 AM
बिहार सरकार ने राज्य में स्वास्थ्य व्यवस्था को और सुद्दढ़ बनाने के उद्देश्य से राजधानी के इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान (आईजीआईएमएस) समेत अन्य अस्पतालों में चिकित्सीय, प्रशासनिक, तकनीकी एवं गैर तकनीकी स्तर पर 523 कर्मियों को बहाल करने का निर्णय...
पटनाः बिहार सरकार ने राज्य में स्वास्थ्य व्यवस्था को और सुद्दढ़ बनाने के उद्देश्य से राजधानी के इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान (आईजीआईएमएस) समेत अन्य अस्पतालों में चिकित्सीय, प्रशासनिक, तकनीकी एवं गैर तकनीकी स्तर पर 523 कर्मियों को बहाल करने का निर्णय लिया है।
मंत्रिमंडल सचिवालय विभाग के प्रधान सचिव डॉ. दीपक प्रसाद ने बताया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई मंत्रिपरिषद की बैठक में इस आशय के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई। उन्होंने बताया कि बैठक में कुल 10 प्रस्ताव स्वीकृत किए गए। डॉ. प्रसाद ने बताया कि आईजीआईएमएस के कुल सात अनुपयोगी पदों को प्रत्यर्पित करते हुए विभिन्न स्तर के चिकित्सीय, प्रशासनिक, तकनीकी एवं गैर-तकनीकी स्तर के कुल 383 नए पदों के सृजन की स्वीकृति दी गई है। साथ ही आईजीआईएमएस के काडिर्योलॉजी तथा काडिर्एक कैथ लैब एवं काडिर्योथोरैसिक सर्जरी विभाग के लिए परफ्यूजनिस्ट के कुल छ: पद मंजूर किए गए हैं।
प्रधान सचिव ने बताया कि स्थापना एवं प्रतिबद्ध व्यय के तहत मधुबनी जिले के झंझारपुर प्रखंड में नवनिर्मित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, अररिया संग्राम को एल-तीन स्तरीय ट्रॉमा सेन्टर के रूप में विकसित करते हुए विभिन्न कोटि के कुल 73 पदों के सृजन की स्वीकृति दी गई है। इसी तरह नवादा जिले के खनवां में नवनिर्मित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र को क्रियाशील करने के लिए आवश्यक विभिन्न कोटि के कुल 61 पदों के सृजन की मंजूरी दी गई है।
डॉ. प्रसाद ने बताया कि उद्यान प्रमंडल, पटना के कार्यों के उचित एवं सुचारू संचालन के लिए गैर योजना मद में कुल 30 करोड़ 46 लाख 40 हजार रुपए अनुमानित वार्षिक व्यय पर उद्यान प्रमंडल, पटना में परिचारी (माली) (समूह-‘घ') के कुल 1000 पदों का सृजन की स्वीकृति दी गई है। प्रधान सचिव ने बताया कि बिहार राज्य जैव विविधता पर्षद, पटना के कार्यालय एवं क्षेत्रीय कार्यों के संचालन के लिए अलग-अलग कोटि के कुल नौ पद सृजित करने का निर्णय लिया है। उन्होंने बताया कि यह पद संविदा पर आधारित होंगे।