Edited By Anil Kapoor,Updated: 25 Dec, 2018 09:32 AM
शहर के एक डॉक्टर को उसकी दूसरी पत्नी की हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। डॉक्टर के साथ 2 अन्य लोग भी गिरफ्तार किए गए। डॉक्टर ने पत्नी के रिश्तेदारों को गुमराह करने के लिए उसका सोशल मीडिया अकाउंट महीनों सक्रिय रखा।
गोरखपुर(उप्र): शहर के एक डॉक्टर को उसकी दूसरी पत्नी की हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। डॉक्टर के साथ 2 अन्य लोग भी गिरफ्तार किए गए। डॉक्टर ने पत्नी के रिश्तेदारों को गुमराह करने के लिए उसका सोशल मीडिया अकाउंट महीनों सक्रिय रखा। उत्तर प्रदेश पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स के महानिरीक्षक अमिताभ यश ने बताया कि एसटीएफ ने राजेश्वरी श्रीवास्तव की हत्या के सिलसिले में पिछले सप्ताह डॉ. डीपी सिंह और उसके दो साथियों प्रमोद कुमार सिंह एवं देशदीपक को गिरफ्तार किया।
यश ने बताया कि राजेश्वरी श्रीवास्तव गोरखपुर से लापता थी। उसके भाई अमर प्रकाश श्रीवास्तव ने शाहपुर थाने में उसके लापता होने या अपहरण की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जांच के दौरान पता चला कि डॉक्टर ने 2 साथियों की मदद से दूसरी पत्नी की हत्या जून 2018 में नेपाल में की थी। पहले उन्होंने राजेश्वरी को शराब और नशे की दवाइयां दीं और बाद में नेपाल के पोखरा की एक पहाड़ी से उसे नीचे ढकेल दिया। नेपाल पुलिस ने उसका शव बरामद कर पोस्टमार्टम कराया था।
आईजी ने बताया कि आरोपी ने हत्या के 7 महीने बाद तक पत्नी का सोशल मीडिया अकाउंट सक्रिय रखा और उसे लगातार अपडेट करता रहा। राजेश्वरी 2011 में अपने पिता के साथ डॉ. डीपी सिंह के क्लीनिक में इलाज के लिए गई थी। उसी वर्ष उसने डॉक्टर से गोंडा में विवाह कर लिया। बाद में पति पत्नी में अकसर झगड़े होने लगे। राजेश्वरी ने गोरखपुर के कैंट थाने में सिंह के खिलाफ बलात्कार का मामला भी दर्ज कराया था। फरवरी 2018 में उसने बिहार में गया के रहने वाले मनीष सिन्हा से विवाह किया, जिस पर पहले पुलिस ने शक किया था। पूछताछ के दौरान डॉक्टर और उसके दोनों साथियों ने कबूल किया कि उन्होंने ही नेपाल में राजेश्वरी की हत्या को अंजाम दिया।
राजेश्वरी अपने दूसरे पति मनीष के साथ नेपाल गई थी। वह वहां 3 जून तक मनीष के साथ रही। 4 जून को मनीष भारत आ गया लेकिन राजेश्वरी वहीं रूकी रही। डॉक्टर अपने 2 साथियों के साथ 4 जून को नेपाल गया और 6 जून को वापस लौट आया। मनीष 5 जून से राजेश्वरी से बात नहीं कर पा रहा था। मोबाइल पर पूरी रिंग जाने के बावजूद उसका फोन नहीं उठ रहा था। इस बीच राजेश्वरी का फोन और व्हाटसऐप चालू रहे। अंतत: 4 अक्तूबर को रात लगभग साढे 11 बजे उसका व्हाटसऐप बंद हुआ।