Edited By ,Updated: 20 Jan, 2017 06:12 PM
रिपब्लिकन पार्टी आफ इंडिया (ए) के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामदास अठावले ने आज कहा कि उन्होंने उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में भाजपा से अलग प्रत्याशी उतारने का फैसला किया है। हालांकि केन्द्रीय मंत्री का कहना है कि वह भाजपा का नुकसान नहीं करना चाहते।
लखनऊ: रिपब्लिकन पार्टी आफ इंडिया (ए) के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामदास अठावले ने आज कहा कि उन्होंने उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में भाजपा से अलग प्रत्याशी उतारने का फैसला किया है। हालांकि केन्द्रीय मंत्री का कहना है कि वह भाजपा का नुकसान नहीं करना चाहते।
भाजपा का करना चाहते हैं फायदा
अठावले ने उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए 58 पार्टी प्रत्याशियों की सूची जारी करते हुए यहां संवाददाताआें से कहा, ‘‘हम भाजपा का फायदा करना चाहते हैं। बसपा दलित वोटों पर अपना अधिकार जमा रही है तो हमें भी अपना हक जमाने का अधिकार है।’’ उन्होंने कहा कि अन्य दलों से बड़ी संख्या में नेताओं के भाजपा आने से सीटों को लेकर दिक्कत हो रही है। यही देखते हुए हमने अलग चुनाव लडऩे का फैसला लिया है। हम ‘‘उत्तर प्रदेश की जनता को आर्थिक और सामाजिक न्याय दिलाने के लिए चुनाव लड़ रहे हैं।’’ अठावले की पार्टी केन्द्र में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली राजग सरकार में शामिल है। लेकिन उत्तर प्रदेश में वह राजग से अलग होकर स्वतंत्र तरीके से चुनाव मैदान में उतर रही है।
वोट काटेंगे नहीं बल्कि अपने हिस्से का वोट लेंगें-अनुप्रिया
प्रदेश में राजग का एक अन्य प्रमुख घटक केन्द्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल के नेतृत्व वाला ‘अपना दल’ है। केन्द्रीय मंत्री से जब सवाल किया गया कि क्या वह बसपा का वोट काटेंगे, तो उनका जवाब था, ‘‘हम उत्तर प्रदेश में खाता खोलना चाहते हैं। हम बसपा का वोट काटेंगे नहीं बल्कि अपने हिस्से का वोट लेंगे।’’
सपा सरकार पर हमला
प्रदेश की सपा सरकार पर हमला बोलते हुए राम दास अठावले ने कहा कि सपा बाप और बेटे के झगड़े में फंसकर रह गयी है। उसने जनता से पिछले चुनाव में किये गये वायदे पूरे नहीं किये। कांग्रेस के साथ गठबंधन का प्रयास सपा की विफलता का प्रमाण है। मुंबई सहित महाराष्ट्र में गैर मराठियों विशेषकर उत्तर प्रदेश के लोगों का राज ठाकरे के नेतृत्व वाली मनसे द्वारा विरोध और उत्पीडऩ की घटनाआें पर अठावले ने कहा, ‘‘मुंबई और महाराष्ट्र में मनसे प्रमुख ‘राज ठाकरे की दादागिरी’ नहीं चलने दूंगा। वहां रह रहे प्रदेश के लोगों की रक्षा की जाएगी।’’
महाराष्ट्र में रहने वाले उत्तर भारतीयों की सुरक्षा का लिया जिम्मा
उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में रहने वाले उत्तर भारतीयों की सुरक्षा का जिम्मा आरपीआई-ए ने पहले भी निभाया है और आगे भी निभाएगी। उन्होंने कहा कि मुंबई मराठी लोगों की तो है लेकिन वह देश की आर्थिक राजधानी भी है। मुंबई पर अकेले राज ठाकरे का अधिकार नहीं है। संविधान के अनुसार सबको वहां जाने और रहने का अधिकार है।
UP Latest News की अन्य खबरें पढ़ने के लिए Facebook और Twitter पर फॉलो करें