Edited By Ruby,Updated: 14 Aug, 2018 04:19 PM
रेलवे की बदहाली का ठीकरा पिछली सरकारों पर फोड़ते हुए रेल राज्यमंत्री मनोज सिन्हा ने मंगलवार को कहा कि रेलवे को विश्वस्तरीय बनाने के लिये केन्द्र सरकार कटिबद्ध है और इसके ढांचागत विकास के लिए आजादी के बाद सबसे अधिक निवेश पिछले चार सालों में किया गया...
मऊः रेलवे की बदहाली का ठीकरा पिछली सरकारों पर फोड़ते हुए रेल राज्यमंत्री मनोज सिन्हा ने मंगलवार को कहा कि रेलवे को विश्वस्तरीय बनाने के लिये केन्द्र सरकार कटिबद्ध है और इसके ढांचागत विकास के लिए आजादी के बाद सबसे अधिक निवेश पिछले चार सालों में किया गया जो आगे भी जारी रहेगा।
मऊ-लखनऊ इंटरसिटी एक्सप्रेस ट्रेन के शुभारंभ और 60 रेलवे स्टेशनों पर वाई-फाई सेवा के लोकापर्ण समारोह को संबोधित करते हुए सिन्हा ने कहा कि रेलवे के ढांचागत विकास पर गत वित्तीय वर्ष में एक लाख तीस हजार करोड़ निवेश किया गया है। वर्तमान वित्तीय वर्ष में निवेश की राशि बढ़ा कर एक लाख 48 हजार करोड़ कर दी गई है। उन्होंने कहा कि पिछली सरकार के दौरान रेलवे के विकास कार्यों पर एक वित्तीय वर्ष 47-48 हजार रुपये खर्च किये जाते थे। जरूरत के अनुसार रेलवे में निवेश नहीं किये जाने से रेल गाड़यिों की रफ्तार पर विपरीत असर पड़ा तथा उसका खामियाजा देश की प्रत्येक जनता को भुगतना पड़ रहा है।
सिन्हा ने कहा कि आजादी के बाद रेल यात्रियों की संख्या के मामले में 24 गुना और माल भाड़ा का दबाव 10 गुना बढ़ा, लेकिन रेल लाइनों के विस्तार की रफ्तार मात्र सवा दो फीसदी ही रही। पिछले सवा चार वर्षों के दौरान हुए विकास कार्यों के कारण आने वाले समय में स्थिति निश्चित तौर पर बेहतर होगी और इसका लाभ प्रत्येक नागरिक को मिलेगा। रेल राज्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की प्राथमिकताओं में रेलवे सबसे ऊपर है और यही कारण है कि पिछली सरकारों की तुलना में करीब तीन गुणा अधिक राशि रेलवे के ढांचागत विकास के लिए आवंटित की गई और उसका ठीक प्रकार से उपयोग किया जा रहा है।