Edited By Ajay kumar,Updated: 17 Dec, 2019 01:10 PM
उत्तर प्रदेश विधानमंडल के शीतकालीन सत्र की शुरुआत मंगलवार को विपक्ष के जोरदार हंगामे के साथ हुई। पूर्वाह्न 11 बजे विधानसभा की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी दलों के सदस्यों ने कानून व्यवस्था तथा संशोधित...
लखनऊ: उत्तर प्रदेश विधानमंडल के शीतकालीन सत्र की शुरुआत मंगलवार को विपक्ष के जोरदार हंगामे के साथ हुई। पूर्वाह्न 11 बजे विधानसभा की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी दलों के सदस्यों ने कानून व्यवस्था तथा संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदेश में जारी प्रदर्शनों का मुद्दा उठाते हुए सदन में हंगामा किया।
विधानसभा अध्यक्ष हृदय नारायण दीक्षित ने विपक्षी दलों के सदस्यों से शांत रहने और कार्यवाही चलने देने की अपील की। हंगामा थमते न देख उन्होंने सदन की कार्यवाही 15 मिनट के लिए स्थगित कर दी। उधर, विधान परिषद में भी ऐसा ही नजारा रहा और विपक्षी सदस्यों के हंगामे की वजह से प्रश्नकाल नहीं हो सका।
सदन की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी दल कानून व्यवस्था और संशोधित नागरिकता कानून का मुद्दा उठाते हुए हंगामा करने लगे। पीठ ने उनसे सदन की कार्यवाही सुचारू रूप से चलाने में सहयोग का आग्रह किया मगर शोरगुल जारी रहने पर सदन की कार्यवाही दो बार स्थगित करनी पड़ी। बाद में कार्यवाही दोपहर 12 बज कर बीस मिनट तक स्थगित कर दी गई और प्रश्नकाल नहीं हो सका इसके पूर्व सपा सदस्यों ने विधान भवन परिसर में स्थित चौधरी चरण सिंह की प्रतिमा के सामने प्रदर्शन किया और भाजपा की 'जनविरोधी नीतियों' के खिलाफ धरना भी दिया।