Edited By Moulshree Tripathi,Updated: 22 Apr, 2020 11:44 AM
कोरोना वायरस का प्रकोप उत्तर प्रदेश में बढ़ता ही जा रहा है। ऐसे में सरकार इससे बचाव का हर संभव प्रयास कर रही है। कोरोना संक्रमण के इलाज में रक्त की कमी न होने पाए इसके लिए भी योगी सरकार तैयार...
लखनऊः कोरोना वायरस का प्रकोप उत्तर प्रदेश में बढ़ता ही जा रहा है। ऐसे में सरकार इससे बचाव का हर संभव प्रयास कर रही है। कोरोना संक्रमण के इलाज में रक्त की कमी न होने पाए इसके लिए भी योगी सरकार तैयार है। UP के मुख्य सचिव आरके तिवारी ने सभी मंडलायुक्त और जिलाधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि राजकीय और निजी ब्लड बैंकों में रक्त की कमी न हो पाए।
आरके तिवारी ने मंगलवार को जारी पत्र में कहा कि राजकीय और निजी ब्लड बैंकों में रक्त की उपलब्धता निरंतर बनाए रखें। रक्तदाताओं के रिकॉर्ड को बनाए रखने के साथ ही रक्त की उपलब्धता की रियल टाइम जानकारी ई-रक्तकोष पोर्टल पर दी जाए। इसके साथ ही उन्होंने निर्देश दिए हैं कि सभी स्वैच्छिक रक्तदाताओं को उनकी सुविधा के लिए पास भी जारी करें, ताकि रक्तदान के लिए आने-जाने में उन्हें कोई कठिनाई न हो। साथ ही इस नाजुक घड़ी में रक्तदान करने वाले व्यक्तियों को प्रोत्साहित करने के लिए विशेष प्रमाण पत्र देने की भी व्यवस्था करें। रक्तदान के वक्त शारीरिक दूरी के पालन पर जोर दिया गया है। उन्होंने कहा है कि रक्तकोषों के सुचारु संचालन के लिए वहां कार्यरत कर्मियों की आवश्यकतानुसार उपलब्धता हो। किसी भी क्षेत्र में रक्तसंग्रह और परिवहन वैन का संचालन या किराये के वाहन की व्यवस्था भी की जा सकती है।
सावधानियां बरतने के दिए निर्देश
मुख्य सचिव ने संक्रमण की रोकथाम और व्यक्तिगत सुरक्षा के लिए रक्तदान कराने से पहले व बाद में हाथ को सैनिटाइज करने, डोनर काउच को प्रत्येक रक्तदान के बाद सेनिटाइज करने, रक्तदाता को छूने वाले क्षेत्रों को पोंछने सहित सभी सावधानियां बरतने के निर्देश दिए हैं। साथ ही थैलेसीमिया अथवा हीमोफीलिया से ग्रसित व्यक्ति द्वारा बीमारी का प्रमाण पत्र और आधार कार्ड दिखाने पर अस्पताल आने-जाने की अनुमति देने के लिए कहा है।