Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 23 Mar, 2019 06:20 PM
मनोरोगियों की संख्या को कम करने के लिये उत्तर प्रदेश सरकार ने अस्पतालों में नियुक्त चिकित्सकों को ही प्रशिक्षित करने को निर्णय लिया है। हमीरपुर जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्साधीक्षक डॉ. आर के शर्मा ने शनिवार को यहां बताया कि प्रदे...
हमीरपुरः मनोरोगियों की संख्या को कम करने के लिये उत्तर प्रदेश सरकार ने अस्पतालों में नियुक्त चिकित्सकों को ही प्रशिक्षित करने को निर्णय लिया है। हमीरपुर जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्साधीक्षक डॉ. आर के शर्मा ने शनिवार को यहां बताया कि प्रदेश में लगातार बढ़ रहे मनोरोगियों की संख्या के चलते सरकार ने यह कदम उठाया है।
प्रदेश में एक सर्वे के अनुसार हर पांच रोगियों में तीन रोगी मनोरोग के चिन्हित किये जा रहे है। सरकारी अस्पतालों में मनोरोग चिकित्सिक की उपलब्धता न होने के कारण वहां तैनात डाक्टरों को ही इस विधा से प्रशिक्षित करने का फैसला लिया गया है। यह प्रशिक्षण अलग अलग चरणो में प्रत्येक जिले में एक माह का दिया जायेगा।
उन्होंने बताया कि जिला अस्पतालो में चिकित्सकों की संख्या कम होने के कारण अलग अलग चरणो में डाक्टर भिजवाये जायेगे ताकि हर रोज जिला अस्पतालों में होने वाली सीएचसी व पीएचसी की ओपीडी प्रभावित न हो। हमीरपुर जिला अस्पताल में मनोरोगियों के उपचार के लिये एक मन कक्ष स्थापित करने के लिये चार लाख रुपये का बजट मुख्य चिकित्साधिकारी (सीएमओ) को दिया गया है। डॉ. शर्मा ने बताया कि मनकक्ष स्थापित करने के चार माह पहले शासन स्तर से दो मनोरोगी चिकित्सिको की नियुक्ति कर दी गयी थी।
सीएमएस डॉ.शर्मा ने दावा किया है कि हमीरपुर जिले मँ भी मनोरोगियो की संख्या में लगातार इजाफा होता जा रहा है। उधर सीएमओ डॉ. सन्तराज का कहना है कि धीरे धीरे मनोरोगिओं के उपचार की व्यवस्था की जा रही है।