Edited By Anil Kapoor,Updated: 05 Feb, 2021 09:01 AM
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को 10 विपक्षी पार्टियों के सांसदों ने गुरुवार को पत्र लिखकर कहा कि गाजीपुर बॉर्डर पर हालात भारत-पाकिस्तान सीमा जैसे हैं और किसानों की स्थिति जेल के कैदियों जैसी है। शिअद, द्रमुक, राकांपा और....
नई दिल्ली\गाजीपुर: लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को 10 विपक्षी पार्टियों के सांसदों ने गुरुवार को पत्र लिखकर कहा कि गाजीपुर बॉर्डर पर हालात भारत-पाकिस्तान सीमा जैसे हैं और किसानों की स्थिति जेल के कैदियों जैसी है। शिअद, द्रमुक, राकांपा और तृणमूल कांग्रेस समेत इन पार्टियों के 15 सांसदों को पुलिस ने गाजीपुर बॉर्डर पर प्रदर्शनकारी किसानों से मिलने नहीं दिया।
जानकारी मुताबिक दौरे का समन्वय करने वाली शिअद की सांसद हरसिमरत कौर बादल के मुताबिक, नेताओं को बैरिकेड पार करने और प्रदर्शन स्थल जाने की इजाजत नहीं दी गई। बादल के अलावा, राकांपा की सुप्रिया सुले, द्रमुक की कोनिमोई और तिरूची शिवा, तृणमूल कांग्रेस के सौगत रॉय प्रतिनिधिमंडल में शामिल थे। उनके साथ नेशनल कॉन्फ्रेंस, आरएसपी और आईयूएमएल के सांसद भी थे।
लोकसभा की कार्यवाही के दिनभर के लिए स्थगित होने के बाद सुले और रॉय समेत विपक्षी सांसद बिरला से मिले और उन्हें एक पत्र सौंपा, जिसमें दावा किया गया है कि पुलिस ने उन्हें प्रदर्शनकारी किसानों से मिलने की इजाजत नहीं दी।