Edited By Deepika Rajput,Updated: 20 Dec, 2018 04:11 PM
भारत की सबसे तेज ट्रेन में शुमार ‘ट्रेन 18’ फाइनल ट्रायल के लिए गुरुवार को दिल्ली के सफदरजंग रेलवे स्टेशन से आगरा के लिए रवाना हुई। वहीं इस दौरान कुछ लोगों ने ट्रेन पर पथराव करना शुरू कर दिया। इस पथराव में ट्रेन की खिड़कियों के शीशे टूट गए। ‘ट्रेन...
आगराः भारत की सबसे तेज ट्रेन में शुमार ‘ट्रेन 18’ फाइनल ट्रायल के लिए गुरुवार को दिल्ली के सफदरजंग रेलवे स्टेशन से आगरा के लिए रवाना हुई। वहीं इस दौरान कुछ लोगों ने ट्रेन पर पथराव करना शुरू कर दिया। इस पथराव में ट्रेन की खिड़कियों के शीशे टूट गए। ‘ट्रेन 18’ पर हुए पथराव को लेकर रेलवे प्रशासन चिंतित है।
100 करोड़ रुपये की लागत से हुआ है ‘ट्रेन 18’ निर्माण
आईसीएफ चेन्नई ने ‘ट्रेन 18’ का निर्माण 100 करोड़ रुपये की लागत से किया है। यह भारत की सबसे तेज ट्रेन में शुमार हो गई है। दिल्ली-राजधानी मार्ग के एक खंड पर प्रायोगिक परीक्षण के दौरान इसकी रफ्तार 180 किलोमीटर प्रति घंटे से अधिक रही। इस ट्रेन में 2 विशेष डिब्बे होंगे जिसमें 52-52 सीटें होंगी और शेष डिब्बों में 78-78 सीटें होंगी।
इतना ही नहीं ट्रेन 18 में यात्रियों को वाईफाई, जीपीएस आधारित सूचना प्रणाली, मॉड्यूलर बायो वैक्यूम टॉयलेट, एलईडी लाइटिंग, मोबाइल चार्जिग प्वाइंट और तापमान नियंत्रण प्रणाली की सुविधा दी गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ‘ट्रेन 18’ को 29 दिसंबर को हरी झंडी दिखाकर रवाना करेंगे।