Edited By Ajay kumar,Updated: 09 Nov, 2019 05:51 PM
सरकारी विभागों कि तरफ से आए दिन कोई न कोई शिकायत या लापरवाही मिलती ही रहती है।मगर
बागपतः सरकारी विभागों कि तरफ से आए दिन कोई न कोई शिकायत या लापरवाही मिलती ही रहती है।मगर हद तो तब हो गई जब झोपड़ी में रहने वाले दैनिक मजदूर यशपाल का बिजली का बिल 46 लाख रुपए का आया।यशपाल की झोपड़ी में महज एक बल्ब ही जलती है, वह भी सौभाग्य योजना के तहत, जिसमें उसे एक किलोवॉट बिजली मुफ्त मिली थी।लापरवाही का आलम यह है कि शिकायत करने के बावजूद उसके घर की बिजली भी काट दी गयी।
वाक्या यह है कि यूपी के बागपत जिले के बरनावां गांव में रहने वाले दैनिक मजदूर यशपाल नें सौभाग्य योजना के तहत बिजली कनेक्शन लिया था,जिसमें एक किलोवॉट बिजली मुफ्त थी। एक बल्ब में गुजर-बसर करने वाला यशपाल निश्चिंत था, मगर 46 लाख का बिल देखकर उसके पांव तले जमीन खिसक गयी। मजदूर की समस्या तब ज्यादा बढ़ गयी जब उसके शिकायत के बावजूद उसका कनेक्शन भी काट दिया गया।अधिकारियों ने सुध नहीं लिया। जब यशपाल ने उच्च अधिकारियों से शिकायत की तो उन्होंने लिपिकीय त्रुटि मानते हुए क्लर्क को सस्पेंड कर दिया।
यशपाल ने आगे बताया कि मैं बिजली अधिकारियों के पास दौड़ता रहा लेकिन मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई । कनेक्शन कट जाने के बाद मैंने उच्च अधिकारियों के सामने मामले को रखा तब उन्होंने मामले को संज्ञान में लिया और उन्होने दोबारा कनेक्शन लगाया। इस बाबत पीवीवीएनएल एमडी अरविंद बंगारी से पूछने पर उन्होंने बताया कि बिलिंग क्लर्क देवेंद्र सिंह को सस्पेंड किया गया है और मामले में लापरवाही के लिए सब डिविजनल अधिकारी को नोटिस भेजकर स्पष्टीकरण मांगा गया है।