Edited By Punjab Kesari,Updated: 01 Jun, 2017 11:53 AM
सियासी गलियारों में सपा और बसपा के बीच गठबंधन की अटकलें फिर से तेज हो गई हैं....
लखनऊः सियासी गलियारों में सपा और बसपा के बीच गठबंधन की अटकलें फिर से तेज हो गई हैं। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में करारी हार के बाद समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव और बहुजन समाज पार्टी अध्यक्ष मायावती पटना की रैली में पहली बार एक साथ सार्वजनिक मंच पर आएंगे। बुधवार को मैनपुरी के करहल में पत्रकारों से बातचीत में अखिलेश यादव ने यह जानकारी दी।
भाजपा के खिलाफ तैयार होगी रणनीतिः अखिलेश
इस दौरान अखिलेश ने कहा कि सपा, बसपा, कांग्रेस और अन्य दलों को 27 अगस्त को लालू यादव के नेतृत्व में होने जा रही पटना की रैली में बुलाया गया है। उन्हें न्योता मिल चुका है, वह जाएंगे। बसपा नेताओं को बुलाया गया है, मायावती भी जाएंगी। उन्होंने कहा कि इस रैली में ही भाजपा के खिलाफ 2019 लोकसभा चुनाव लड़ने की रणनीति तैयार होगी। रैली राजनीति की भी नई दिशा तय करेगी।
रैली में होगी घोषणा
अखिलेश से जब समाजवादी पार्टी और बसपा के साथ आने की संभावना के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा "मैं 27 अगस्त को लालू प्रसाद की बिहार में आयोजित रैली में शामिल होऊंगा। तभी कोई घोषणा होगी।" हालांकि बसपा या मायावती की तरफ से ऐसी कोई खबर नहीं है कि वह रैली में शामिल होंगी या नहीं।
सीएम योगी पर जमकर साधा निशाना
इस बीच राष्ट्रपति चुनाव के सवाल को लेकर अखिलेश ने कहा कि सोनिया गांधी के नेतृत्व में विपक्षी नेताओं के एकजुट होने के लिए बैठक हो चुकी है। सपा अध्यक्ष ने कहा कि कांग्रेस और राहुल गांधी का साथ वह कभी नहीं छोड़ेंगे। प्रदेश की कानून व्यवस्था को लेकर सपा अध्यक्ष ने कहा कि भाजपा के काल में अपराधों का ग्राफ बढ़ा है। मथुरा, आगरा, इटावा, मैनपुरी, बिजनौर, सहारनपुर जैसे शहरों में व्यापारी लूटे और मारे जा रहे हैं। उन्होंने सवाल किया कि अपराध खत्म करने का आश्वासन देने वाले योगी अब क्यों कोई मंत्र नहीं फूंक देते?
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