Edited By Moulshree Tripathi,Updated: 14 May, 2020 10:20 PM
उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस का प्रकोप तेजी से बढ़ता जा रहा है। इस संकट को देखते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट ने प्रदेश सरकार को चयनित 729 लैब टेक्नीशियन अभ्यर्थियों को नियुक्त करने की...
प्रयागराजः उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस का प्रकोप तेजी से बढ़ता जा रहा है। इस संकट को देखते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट ने प्रदेश सरकार को चयनित 729 लैब टेक्नीशियन अभ्यर्थियों को नियुक्त करने की छूट दे दी है। कोर्ट ने यह छूट राजकीय अस्पतालों में कोरोनावायरस की जांच के लिए लैब टेक्नीशियन स्टाफ की कमी को देखते हुए दिया है।
बता दें कि कोर्ट के इस आदेश से तमाम अभ्यर्थियों को फौरी राहत मिल गई है। हांलाकि कोर्ट ने कहा है कि ये नियुक्तियां याचिका के अंतिम निर्णय पर निर्भर करेंगी। यह आदेश जस्टिस सौरभ श्याम शमशेरी की एकलपीठ ने नमित कुमार पांडेय और आठ अन्य की याचिका पर दिया है। कोर्ट ने नियुक्ति पर लगी रोक के आदेश को संशोधित कर दिया है। याचिका पर वरिष्ठ वकील आर.के ओझा और राज्य सरकार की ओर से अपर महाधिवक्ता नीरज त्रिपाठी, आयोग की तरफ से सिद्धार्थ सिंहल और विपक्षियों की तरफ से एम.ए सिद्दीकी और अन्य वकीलों ने पक्ष रखा।
बता दें कि लैब टेक्नीशियन भर्ती परिणाम घोषित होने के बाद 186 अभ्यर्थियों को जॉइन करा लिया गया था। इस बीच HC ने याचिका की सुनवाई करते हुए 26 अगस्त, 2019 को नियुक्ति पर रोक लगा दी। इससे 729 चयनित अभ्यर्थियों को नियुक्ति नहीं दी जा सकी।