Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 16 May, 2021 06:27 PM
वैश्विक महामारी कोरोना वायरस का दूसरा लहर अब तक तो शहर में ही अपना आतंक फैलाए हुए था लेकिन अब यह गांव की गलियों में पहुंच चुका है। गांव में कोरोना वायरस का खौफ इतना है कि लोग सिर्फ काम के लिए ही घर से बाहर निकल रहे हैं बाकी दिन भर वह घरों में कैद...
गोरखपुरः वैश्विक महामारी कोरोना वायरस का दूसरा लहर अब तक तो शहर में ही अपना आतंक फैलाए हुए था लेकिन अब यह गांव की गलियों में पहुंच चुका है। गांव में कोरोना वायरस का खौफ इतना है कि लोग सिर्फ काम के लिए ही घर से बाहर निकल रहे हैं बाकी दिन भर वह घरों में कैद हैं।
सजनवा के ब्लॉक पाली ग्राम चड़रांवा में पिछले कुछ दिनों से ही गांव में लोग सर्दी जुकाम और बुखार से पीड़ित है, कुछ लोगों में कोरोना वायरस के भी लक्षण पाए गए हैं, अगर गांव के आबादी की बात करें तो लगभग 3 के आस पास की आबादी है। गांव में दहशत की वजह यह है कि पंचायत चुनाव के बाद अब तक लगभग 12 मौतें हुई हैं जिनमें से दो से तीन मौतें कोरोना संक्रमित हैं जबकि अन्य मौतें सामान्य बताई जा रही है। मौतों के इन आंकड़ों को देखकर ग्रामीण भयभीत हैं। गांव में यदि कोई बाहर निकल भी रहा है तो वह पूरी तैयारी से निकल रहा है और समय रहते अपने घर वापस आ रहा है।
गांव के एसपी सिंह उर्फ भगवान सिंह जो पिछले 10 वर्षों से यहां से जिला पंचायत सदस्य रह चुके हैं उन्होंने बताया कि पंचायत चुनाव के बाद से ही गांव में मौतों का सिलसिला शुरू हुआ, पिछले 20 दिनों में 10 से 12 लोगों की मौतें हुई है, जिनमें से दोस्त से 3 मौतें कोरोना वायरस की वजह से हुई है जबकि बाकी अन्य मौतों का कोई पुख्ता सबूत नहीं है। पंचायत चुनाव के दौरान कमाने के लिए दूसरे प्रदेश में गए लोग यहां पर आए हैं और वह लोग बगैर जांच करवाएं गांव में अभी तक है जिस पर प्रशासन की कोई नजर नहीं पड़ी है, गांव में जब पहली बार कोरोना से मौत हुई थी उस समय प्रशासन द्वारा किसी भी तरह का कंटेनमेंट जोन नहीं बनाया गया।
मौतों का आंकड़ा बढ़ने के बाद आज स्वास्थ्य विभाग की टीम गांव में पहुंची है, जो कोरोना का जांच कर रही है। कोरोना की चेन तोड़ने के लिए 17 मई तक लॉकडाउन की घोषणा की गई है लेकिन गांव की हालत यह है कि अगर एक दिन कमाई नहीं हुई तो घर में चूल्हा भी नहीं जलता है जिसके लिए ग्रामीणों को मजबूरी बस बाहर निकलना पड़ता है।