Edited By Tamanna Bhardwaj,Updated: 18 Apr, 2018 04:48 PM
वैशाख भगवान विष्णु का महीना माना जाता है। इसकी अक्षय तृतीया तिथि मानव के लिए काफी कल्याणकारी मानी जाती है, क्योंकि इसे भगवान विष्णु के दशावतार परशुराम का जन्म माना गया है...
इलाहाबादः वैशाख भगवान विष्णु का महीना माना जाता है। इसकी अक्षय तृतीया तिथि मानव के लिए काफी कल्याणकारी मानी जाती है, क्योंकि इसे भगवान विष्णु के दशावतार परशुराम का जन्म माना गया है। अक्षय तृतीया शब्द का अर्थ है जिसका क्षय या नाश न हो। इस दिन किया हुआ जप, तप, ज्ञान तथा दान अक्षय फल देने वाला होता है अतः इसे अक्षय तृतीया कहते हैं।
शास्त्रों में भी कहा गया है कि 'यः करोति तृतीयायां कृष्णं चन्दनभूषितम्। वैशाखस्य सिते पक्षे स यात्यच्युतमन्दिरम्।' यानी अक्षय तृतीया के दिन कोई भी काम किया जाए, वह शुभ होता है। गंगा स्नान, यव से होम, यव का दान, स्वयं यव का खाना, संपूर्ण पापों का नाश करता है। जो इस दिन भगवान कृष्ण को चंदन से अलंकृत करता है, वह बैकुंठ जाता है।
ऐसा कहा जाता है कि अक्षय तृतीया के दिन धर्माचरण, व्रतोपवास करने से अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है। साथ ही दान व खरीददारी करने पर विशेष पुण्य प्राप्त होता है। जबकि विवाह नए प्रतिष्ठान का शुभारंभ, नामकरण व कोई भी सामान खरीदने का यह सबसे पावन अवसर होता है। यह एकमात्र ऐसी तिथि होती है जिसमें मुहूर्त के बिना ही शुभ कार्य किया जा सकता है, लेकिन इस बार की अक्षय तृतीया पर बाजारों में रौनक नही नजर आ रही है।
उधर, सर्राफा व्यापारियों की दुकानों पर सन्नाटा पसरा हुई है। जिसकी मूल वजह है कि लोगों का एटीएम से पैसा ना निकलना। वहीं दुकानदारों का कहना है कि एटीएम से पैसा ना निकलने के चलते हैं। ग्राहक खरीदारी करने नहीं आ रहे हैं। जो ग्राहक आ रहे हैं, वो कम पैसे की खरीददारी कर रहे हैं। उनका कहना है कि ऐसा पहली बार हो रहा है की अक्षय तृतीया के दिन सराफा की दुकानों पर सन्नाटा पसरा हो।