Edited By prachi,Updated: 17 Jun, 2019 05:13 PM
बिहार के मुजफ्फरपुर में एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम से मरने वाले बच्चों की घटना को देखते हुए केंद्र सरकार इस रोग के कारणों का पता लगाएगी और इसके निदान के लिए दीर्घकालिक योजना बनाएगी। इस बीच केंद्र सरकार इस घटना को देखते हुए डॉक्टरों और विशेषज्ञों...
पटना/नई दिल्लीः बिहार के मुजफ्फरपुर में एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम से मरने वाले बच्चों की घटना को देखते हुए केंद्र सरकार इस रोग के कारणों का पता लगाएगी और इसके निदान के लिए दीर्घकालिक योजना बनाएगी। इस बीच केंद्र सरकार इस घटना को देखते हुए डॉक्टरों और विशेषज्ञों की एक और टीम सोमवार शाम को बिहार भेज रही है।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्द्धन ने संसद परिसर में पत्रकारों को मुजफ्फरपुर की दर्दनाक घटना के बारे में बताया कि उन्होंने गत दिनों मुजफ्फरपुर की यात्रा कर अस्पताल में भर्ती मरीजों, उनके अभिभावकों और डॉक्टरों से विस्तृत बातचीत की थी और उनका हालचाल पूछ कर इसकी जानकारी मीडिया को भी दी थी। उन्होंने कहा कि एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम किन कारणों से होता है इसका पता सरकार लगाएगी और उसके निदान के लिए दीर्घकालिक योजना बनाएगी। उन्होंने कहा कि जापानी बुखार तो एक वायरस से होता है लेकिन यह एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम किन कारणों से हो रहा है इसका पहले पता लगाया जाना ज्यादा जरूरी है। क्या यह कोई नया वायरस है या किसी अन्य तरह का संक्रमण है या कोई अन्य कारण। इसका पता लगाने के लिए गहन शोध कार्य की जरूरत है।
डॉक्टर हर्षवर्द्धन ने कहा कि इस बीमारी के कारणों का पता लगाने के लिए अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च जैसी अनेक स्तरीय राष्ट्रीय संस्थाओं की मदद लेकर शोध कार्य को पूरा करेंगे। उन्होंने कहा कि यह रोग किन कारणों से हो रहा है इसका अभी तक पता नहीं चला है इसलिए कारगर इलाज नहीं हो पा रहा है। सरकार बच्चों को बचाने के लिए पूरी तरह मुस्तैद है और उसने हर स्तर पर अधिकारियों को निर्देश दे रखा है कि बच्चों का इलाज सही समय पर सही ढंग से हो।
गौरतलब है कि इस रहस्मय बुखार के कारण अब तक एक सौ से अधिक बच्चों की मौत हो चुकी है और स्थिति का जायजा लेने के लिए डॉ हर्षवर्द्धन के अलावा स्वास्थ्य राज्य मंत्री अश्वनी चौबे और डॉक्टरों की टीम मुजफ्फरपुर का दौरा कर चुकी है।